scorecardresearch
 
Advertisement
एजुकेशन न्यूज़

Mahatma Gandhi: गरीबी से निकल पहले बैरिस्‍टर फिर बने 'महात्‍मा', जानें- बापू के बारे में ये बातें

महात्‍मा गांधी (File Photo: Getty)
  • 1/8

Mahatma Gandhi: महात्‍मा गांधी के अहिंसा और सत्‍याग्रह से जुड़े विचारों का पूरी दुनिया सम्‍मान करती है. उनके मोहनदास से महात्‍मा बनने तक का सफर यहां हम आपको बता रहे हैं. 2 अक्टूबर 1869 को गुजरात के पोरबंदर में एक हिंदू-गुजराती मोध बनिया वैश्य परिवार में जन्‍मे मोहनदास करमचंद गांधी की नाथू राम गोडसे ने आज ही के दिन गोली मारकर हत्‍या कर दी थी. लेकिन वो मरने के बजाय लोगों के जेहन में और भी गहरे हो गए.

महात्‍मा गांधी
  • 2/8

मोहनदास करमचंद गांधी के जन्म के 5 साल बाद उनका परिवार पोरबंदर से राजकोट आ गया. जब गांधी 9 साल के हुए तब राजकोट में उन्हें उनके घर के नजदीकी स्कूल में पढ़ने के लिए भेजा गया. जब वो 11 साल के हुए तब उन्होंने राजकोट के हाई स्कूल में जाना शुरू किया. महात्मा गांधी पढ़ाई में औसत थे. वो काफी शर्मीले और कम बोलने वाले बच्चों में थे. उन्हें खेलों में भी कोई दिलचस्पी नहीं थी, उनकी साथी केवल उनकी किताबें थीं. 

महात्‍मा गांधी
  • 3/8

महात्मा गांधी उस समय केवल 13 साल के थे जब उनकी शादी कस्तूरबा माखनजी कपाडिया (कस्तूरबा गांधी) से हो गई. साल 1885 में महात्मा गांधी के पिता करमचंद गांधी की मृत्यु हो गई. जब महात्मा गांधी 16 साल और उनकी पत्नी 17 साल की थीं उस समय उनके पहले बच्चे का जन्म हुआ, लेकिन जन्म के कुछ समय बाद ही उसकी (बच्चे की) मौत हो गई. इस बात से गांधीजी बहुत दुखी थे.

Advertisement
महात्‍मा गांधी
  • 4/8

इसके बाद दोनों के 4 और बेटे हुए. उनके सबसे बड़े बेटे का नाम था हरीलाल जिनका जन्म 1888 को हुआ था. उनके दूसरे बेटे का नाम मनीलाल था जिनका जन्म 1892 को हुआ, तीसरे बेटे रामदास का जन्म 1897 को हुआ जबकि चौथे बेटे देवदास का जन्म 1900 में हुआ. नवंबर 1887 को 18 साल की उम्र में महात्मा गांधी ने इलाहाबाद से अपनी ग्रेजुएशन की पढ़ाई पूरी की. जनवरी 1888 में उन्होंने भावनगर के सामलदास कॉलेज में दाखिला लिया.

महात्‍मा गांधी
  • 5/8

हायर एजुकेशन के लिए उन्होंने कॉलेज में दाखिला लिया लेकिन गरीब परिवार से आने और फीस अफोर्ड नहीं कर पाने के चलते उन्हें बीच में ही कॉलेज छोड़ना पड़ा. जब गांधी ने कॉलेज छोड़ा तब उनके पारिवारिक मित्र मावजी दवे जोशीजी ने उन्हें और उनके परिवार को सलाह दी कि उन्हें लंदन जाकर लॉ (वकालत) की पढ़ाई करनी चाहिए. लेकिन क्योंकि इसी साल उनके बेटे हरीलाल का जन्म हुआ था इसलिए उनकी मां नहीं चाहती थीं कि वो अपने परिवार को छोड़कर दूर जाएं.

महात्‍मा गांधी
  • 6/8

महात्मा गांधी चाहते थे कि वो पढ़ाई करने जाएं इसलिए अपनी पत्नी और मां को राजी करने के लिए उन्होंने कहा कि वो विदेश जाकर मीट, शराब और औरतों से दूर रहेंगे. गांधी के भाई लक्ष्मीदास, जो कि खुद भी पेशे से वकील थे उन्होंने गांधी का साथ दिया जिसके बाद उनकी मां पुतलीबाई उन्हें भेजने के लिए राजी हो गईं. जब वो लंदन में थे उस दौरान उनकी मां का देहांत हो गया लेकिन उनके परिवार ने इस बात की जानकारी महात्मा गांधी को नहीं दी.

महात्‍मा गांधी (File Photo: Getty)
  • 7/8

महात्मा गांधी ने अहिंसा के मार्ग पर चलकर देश को आजादी दिलाई, साथ ही संदेश दिया कि अहिंसा सर्वोपरि है. महात्मा गांधी को सुभाष चंद्र बोस ने 6 जुलाई 1944 को रेडियो रंगून से 'राष्ट्रपिता' कहकर संबोधित किया था.

महात्‍मा गांधी (File Photo: Getty)
  • 8/8

महात्मा गांधी की शवयात्रा 8 किलोमीटर लंबी थी. कहा जाता है कि उनकी शव यात्रा में करीब 10 लाख लोग चल रहे थे और लगभग 15 लाख लोग रास्ते में खड़े थे. बता दें क‍ि भारत में छोटी सड़कों को छोड़ दें तो कुल 53 बड़ी सड़कें महात्मा गांधी के नाम पर हैं, जबकि विदेश में कुल 48 सड़कों के नाम उनके नाम पर हैं.

 

Advertisement
Advertisement