दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया से कहा है कि वे दिल्ली सरकार के गवर्नमेंट कॉलेजों में राजधानी दिल्ली के छात्रों को 80 प्रतिशत आरक्षण देने की संभावना तलाश करें.
केजरीवाल ने उनसे यह भी पूछा कि एक अभियान के जरिए 9 हजार शिक्षकों को नियुक्त करने के लिए 80-85 फीसदी गेस्ट टीचरों को राजधानी से शामिल किया जा सकता है या नहीं. ये दिल्ली के लोगों के लिए रोजगार पैदा करने में मदद करेगा. Google हैंगआउट के जरिए वालंटियर्स के साथ बातचीत करते हुए, केजरीवाल ने अपनी सरकार द्वारा विशेष रूप से स्वास्थ्य और शिक्षा के क्षेत्र में उठाए गए कदमों को लोकप्रिय बनाने के लिए कहा है.
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उन्होंने कहा कि आप सरकार राजधानी दिल्ली में 100 प्रतिशत साक्षरता प्राप्त करना चाहती है. मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल का कहना है कि उन्हें दिल्ली के छात्रों से शिकायतें मिल रही हैं कि वे अपने ही शहर के कॉलेजों में एडमिशन नहीं ले पा रहे हैं. दिल्ली राष्ट्र की राजधानी है. यह सभी के लिए है और यहां सभी का स्वागत है. लेकिन दिल्ली के टेक्स पेयर्स से चल रहे कॉलेजों में कुछ सीटें दिल्ली के छात्रों के लिए आरक्षित होनी चाहिए.
उन्होंने कहा कि मैंने 28 महाविद्यालयों में आरक्षण का पता लगाने के लिए मनीष सिसोदिया जी से अनुरोध किया है. आम आदमी पार्टी ने इससे पहले भी इसी तरह का प्रस्ताव जारी किया था. दिल्ली के कई कॉलेजों में एडमिशन के लिए हाई कटऑफ के साथ, राजधानी में कई छात्र सीटें नहीं मिलने की वजह से शिकायत करते हैं.
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साथ ही, दिल्ली के छात्रों को उन लोगों के साथ कड़ी टक्कर देनी होगी जो दिल्ली के बाहर से अपनी बारहवीं कक्षा की पढ़ाई पूरी करके आते हैं. फिलहाल , दिल्ली टेक्नोलॉजी यूनिवर्सिटी और इंद्रप्रस्थ यूनिवर्सिटी और इंद्रप्रस्थ दिल्ली में रह रहे छात्रों को आरक्षण देते हैं.
केजरीवाल का कहना है कि दिल्ली सरकार की शिक्षा योजना के तहत शिक्षा ऋण मांगने वाले छात्रों के लिए गारंटर के रूप में 10 लाख रुपये तक के प्रस्ताव को बढ़ा दिया गया है. उन्होंने कहा कि यह योजना दिल्ली कॉलेजों में शिक्षा प्राप्त कर रहे छात्रों के लिए शुरू की गई थी. अब वे दुनिया में कहीं भी पढ़ाई के लिए अप्लाई करने के लिए इस योजना का लाभ उठा सकते हैं.