आने वाले सत्र से 10वीं और 12वीं के छात्रों की करियर से संबंधित सभी समस्याओं का निदान करने के लिए काउंसलिंग की सुविधा प्रदान की जाएगी. यह नई व्यवस्था सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले छात्रों के लिए की जा रही है.
दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया ने 18 जुलाई को इसकी जानकारी दी. काउंसलिंग के लिए स्कूल में आए एक्सपर्ट 10वीं और 12वीं के छात्रों के करियर व निजी जिंदगी से संबंधित सभी सवालों के जवाब देंगे.
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अगल सत्र से सरकार एक फी वेवर स्कीम भी शुरू कर रही है, जो मेरिट पर आधारित होगा और उन छात्रों के लिए होगा जो आर्थिक रूप से कमजोर हैं.
सिसोदिया ने कहा कि दिल्ली के सरकारी स्कूलों में करीब 4 लाख छात्रों ने दाखिला लिया है.
सिसोदिया ने कहा कि इससे पहले छात्रों के करियर से संबंधित या व्यक्तिगत व भावनात्मक समस्याओं को सुलझाने के लिए काउंसलिंग का प्रोविजन नहीं रखा गया.
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इसके लिए सरकार ने United Nations Development Programme (UNDP) के साथ करार किया है. काउंसलर्स की नियुक्ति हो चुकी है और उनकी प्रशिक्षण प्रक्रिया भी शुरू हो चुका है. काउंसलर छात्रों को एक के बाद एक परामर्श प्रदान करेंगे, जिसका डेटा ऑनलाइन भी उपलब्ध कराया जाएगा.
सिसोदिया ने इस नई पहल में सिर्फ 3 फीसदी निजी संस्थानों को ही जोड़ा है.
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National Food Security Scheme के तहत आने वाले परिवार के बच्चों को 100 फीसदी फी-वेवर सुविधा मिलेगी, जबकि 2.5 लाख आय वाले परिवार के छात्राें को 50 फीसदी फी-वेवर मिलेगा. वहीं 2.5 लाख से 6 लाख रुपये की आय वाले परिवार के छात्रों को 25 प्रतिशत फी-वेवर की सुविधा दी जाएगी.
लेकिन इस स्कीम के लिए सिर्फ वही छात्र योग्य माने जाएंगे, जिन्होंने 12वीं में 60 फीसदी से ज्यादा अंक हासिल किया है. इस स्कीम के तहत आने वाले सभी छात्रों को किताबों व पढ़ाई से संबंधित दूसरे खर्चों के लिए अतिरिक्त 5,000 रुपये प्रदान किए जाएंगे.