सेंट्रल बोर्ड ऑफ सेकेंडरी एजुकेशन (CBSE) स्टूडेंट्स को उनके सर्टिफिकेट और मार्क्सशीट की कॉपियां डिजिटल प्रारूप में देने की तैयारी कर रहा है. स्टूडेंट्स को ये सर्टिफिकेट उन्हें दिए जाने वाले सामान्य सर्टिफिकेट के साथ ही दिए जाएंगे.
सूचना प्रौद्योगिकी सचिव आर एस शर्मा ने बताया, 'डिजिटल सर्टिफिकेट के मामले में हम सीबीएसई के साथ मिलकर काम कर रहे हैं. इस प्रस्ताव का मकसद स्टूडेंट्स को अपने सर्टिफिकेट डिजिटल लॉकरों में सुरक्षित रखने में मदद करना है. मुझे उम्मीद है कि सीबीएसई अगले कुछ महीनों के अंदर इस प्रकार के सर्टिफिकेट जारी करना शुरू कर देगी.'
सरकार ने दस फरवरी को डिजिटल लॉकर्स की शुरुआत की थी और तीन महीने के भीतर ही एक लाख से अधिक लोगों ने इसका इस्तेमाल शुरू कर दिया. मध्य प्रदेश में 24 हजार से अधिक, उत्तर प्रदेश में 17 हजार से अधिक और गुजरात में 13 हजार से अधिक लोग इस सुविधा के लिए पंजीकरण करवा चुके हैं और यह तीनों राज्य ऐसा करने वाले राज्यों में टॉप पर हैं.
आधार नंबर रखने वाला कोई भी व्यक्ति बिना किसी शुल्क के अपना डिजिटल लॉकर खोल सकता है. उन्होंने बताया, 'एकेडिक सर्टिफिकेट के साथ ही हम अन्य सरकारी विभागों से संपर्क कर रहे हैं, जो किसी भी प्रकार के सर्टिफिकेट जारी करने की प्रक्रिया में शामिल हैं.'
- इनपुट भाषा