नर्सरी एडमिशन के मुद्दे को लेकर मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और शिक्षा मंत्री मनीष सिसोदिया ने बच्चों के अभिभावकों के साथ रविवार बातचीत की.
इस दौरान उन्होंने कहा कि हम तो दिल्ली को दिल्ली रखेंगे, मैं इस शहर में रहता हूं, यहां शिक्षा बेहतर होनी चाहिए. कोई लॉबी खड़ी हो जाये इससे हम डरने वाले नहीं हैं.
सिसोदिया ने अभिभावकों को आश्वासन देते हुए कहा कि अभिभावक डरे नहीं, सरकार उनके साथ खड़ी है.
मैनेजमेंट कोटे पर सवाल पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि हम स्कूलों को दुकान नहीं बनने देंगे , मैनेजमेंट कोटा वो विंडो थी जहां से एडमिशन हो सकते थे. हमने कोर्ट के पिछले आदेश को पढ़कर ही मैनेजमेंट कोटा को हटाने का निर्णय लिया है, पिछले आदेशों नें अदालत ने कभी नहीं ये कहा था कि मैनेजमेंट कोटा न हटाया जाए. बातचीत के दौरान उन्होंने यह साफ कर दिया कि दिल्ली सरकार पूरी कोशिश करेगी एडमिशन में पूरी पारदर्शिता हो.
साथ ईडब्लूएस कोटे में अप्लाई करनेवाले लोगों को कंप्यूटर से अप्लाई करने में कोई दिक्कत नहीं होगी. इस बार ईडब्लूएस कोटे के तहत कोई धांधली स्कूलों की नहीं चलेगी. इतना ही नहीं दिल्ली में सारे नर्सरी एडमिशन की निगरानी खुद दिल्ली सरकार करेगी, जिनका एडमीशन होगा उन बच्चों का नाम दिल्ली सरकार की वेबसाइट पर आएगा. हर स्कूल में एडमिशन ड्राॅ की वीडियोग्राफी की जाएगी. माइनॉरिटी स्कूल में मैनेजमेंट कोटा लागू नहीं होगा क्योंकि कानून इसकी अनुमति नहीं देता है. साथ ही उन्होंने यह घोषणा की, अगले साल तक दिल्ली में 25 नए स्कूल तैयार होंगे. स्कूल टीचर और मैनेजमेंट से जुड़े लोगों के बच्चों का उस स्कूल में किया जा सकता है.
LIVE on #Periscope: Interaction with Parents regarding Nursery Admissions https://t.co/PRw7cjDR6p
— Arvind Kejriwal (@ArvindKejriwal) January 10, 2016
केजरीवाल ने अभिभावकों से बातचीत के दौरान कहा कि हमारे देश में कोई बच्चा होता है तो शिक्षा उसका अधिकार है और ये सरकार की जिम्मेदारी है कि उसे शिक्षा मुहैया कराए. प्राइवेट स्कूल में कई ऐसे स्कूल भी हैं जो एडमिशन के टाइम पर गड़बड़ी करते हैं अपने हिसाब से फीस बढ़ा देते हैं. ऐसे में सभी स्कूलों का नाम खराब होता है. उन्होंने यह भी कहा कि हम भी मानते हैं कि प्राइवेट स्कूल को अपने नियम बनाने की छूट है. कई स्कूल ऐसे भी हैं जो कई स्कूल सही भी हैं क्योंकि उनका मैनेजमेंट अच्छा है. लेकिन सारे स्कूलों का मैनेजमेंट सही नहीं है, जिसके चलते मनमाने एडमिशन शुरू हो जाते हैं. इन्हें जिसे रोकना बहुत जरूरी है, यही वजह है कि हमने सारे कोटे खत्म करा दिए गए हैं. अब देखते हैं गड़बड़ी कहां से होगी.
मुख्यमंत्री केजरीवाल ने यह भी कहा कि दिल्ली सरकार के पास जब एडमिशन की सिफारिश आती है तो बुरा लगता है इसलिए कोटा खत्म करना जरूरी था. अब न कोटा रहेगा और न ही सिफारिशें. हमने तो अपने हाथ काट दिए हैं, हम चाहते तो कोटे को आगे बढ़ाते और हमारे साथियों को ही फायदा होता.
आपको बता दें कि कनॉट प्लेस के पास एनडीएमसी कन्वेंशन सेंटर में रविवार सुबह 10 बजे मुलाकात में सभी अभिभावकों को खुलकर अपने विचार रखने का न्योता दिया गया था.
दरअसल हाल ही में दिल्ली की केजरीवाल सरकार ने प्राइवेट स्कूलों के मैनेजमेंट कोटे को पूरी तरह से खत्म करने का ऐलान कर दिया. साथ ही सरकार ने 62 तरह के ऐसे क्राइटेरिया भी रद्द कर दिए, जिनके आधार पर नर्सरी एडमिशन होने थे। इसके बाद कुछ भ्रम फैल रहा है, जिसको दूर करने के लिए ये कार्यक्रम रखा गया है.