भारतीय गणितज्ञ और सुपर 30 के संस्थापक आनंद कुमार ने विशाल वैश्विक चुनौतियों से मुकाबले के लिए समग्र शिक्षा की जरूरत को रेखांकित करते हुए कहा कि दुनिया के अलग-अलग हिस्सों में रह रहे भारतीयों को अपनी जड़ों को नहीं भूलना चाहिए और अपने देश की प्रगति में भागीदार बनना चाहिए.
कतर में आयोजित एक कार्यक्रम में कुमार ने कहा, 'जिन्हें सफलता मिल चुकी है, उनका यह कर्तव्य है कि वे पीछे देखें और समाज को कुछ लौटाएं, जो हर व्यक्ति की सफलता में अनमोल भूमिका निभाता है. इसलिए, जब आप सफल होते हैं तो आपको अपनी सफलता समाज के साथ भी बांटनी चाहिए.' उन्होंने कहा कि समग्र शिक्षा की जरूरत है, जिसकी बदौलत गरीबी, अशिक्षा और बेरोजगारी जैसी दुनिया की बड़ी चुनौतियों से असरदार तरीके से निपटा जा सकता है.
कमजोर तबके के लोगों को भारत के प्रतिष्ठित आईआईटी संस्थानों में दाखिला लेने के काबिल बनाने वाले आनंद अपने इस प्रयास के लिए दुनिया भर में सराहे जा चुके हैं. आनंद को कतर में भारतीय समुदाय ने संबोधित करने के लिए आमंत्रित किया था.
उनके कार्यों से प्रभावित होकर कतर में भारतीय समुदाय ने कुमार को सम्मानित किया.