जामिया मिल्लिया इस्लामिया के कैंपस में रविवार को पुलिस कार्रवाई से प्रभावित विश्वविद्यालय के छात्रों की मदद के लिए स्वैच्छिक दान या योगदान करने की कुछ वर्गों द्वारा की गई अपील को लेकर जामिया ने स्पष्ट किया है कि विश्वविद्यालय प्रशासन ने ऐसा कोई अनुरोध नहीं किया है.
जामिया विश्वविद्यालय प्रशासन की ओर से जारी सूचना में कहा गया है कि विश्वविद्यालय किसी भी संगठन द्वारा जामिया मिल्लिया इस्लामिया के नाम पर चंदा इकट्ठा करने के सभी प्रयासों को हतोत्साहित करता है, क्योंकि उसके पास अपने छात्रों को सभी चिकित्सा मदद मुहैया कराने के पर्याप्त संसाधन हैं.
रविवार को जामिया में हुआ था बवाल
बता दें कि जामिया मिल्लिया इस्लामिया में छात्रों के साथ दिल्ली पुलिस की हिंसक भिड़ंत का मामला सुर्खियों में है. CAA यानी नागरिकता संशोधन कानून को लेकर रविवार को DTC की 3 बसों में आग लगने की घटना के बाद मामला बिगड़ गया और कथित तौर पर पुलिस ने जामिया यूनिवर्सिटी में घुसकर छात्रों को निशाना बनाया. आरोप है कि पुलिस ने हॉस्टल और लाइब्रेरी में घुसकर छात्र-छात्राओं से बदसलूकी और मारपीट की. पुलिस ने छात्रों पर आंसू गैस के गोले भी दागे.
वहीं पुलिस ने इस बारे में कहा कि उन्होंने उन छात्रों पर कार्रवाई की जिन्होंने उन पर पथराव किया था. जबकि आरोप है कि छात्रों को लाइब्रेरी और बाथरूम में घुसकर पीटा गया. छात्रों का आरोप है कि पुलिस ने उनके साथ अपराधियों जैसा सलूक किया गया और वीडियो में छात्र बाथरूम में बेहोश हालत में दिखाई दे रहे हैं. उन्होंने लाइब्रेरी और बाथरूम में छुपकर खुद को बचाया. इस घटना में कई छात्र घायल हुए थे. घटना में एक छात्र की आंख भी चली गई थी.