15 साल की उम्र एक लड़की ने गौतम बुद्ध की एक पेंटिंग बनाई थी और उस पेंटिंग के उसे पैसे भी मिले. जिसके बाद उसे एहसास हो गया कि उनकी पेंटिंग में रूचि है और आगे और भी अच्छी पेटिंग्स बना सकती है.
हम बात कर रहे हैं मल्लिका केजरीवाल की जिसने अपनी मेहनत के दम पर अपना खुद का बिजनेस खोल लिया है. मल्लिका ने मुंबई के सोफिया कॉलेज से कमर्शियल आर्ट में ग्रेजुएट की. जिसके बाद मन बना लिया था कि वह ग्राफिक डिजाइनिंग की फील्ड में ही अपना आगे का करियर बनाएंगी. बात दें, आज उन्होंने 'द डिजाइन बे स्टूडियो' की कंपनी बनाई है. आज उनकी ये कंपनी कई बड़े-बड़े क्लाइंट्स के लिए डिजाइनिंग का काम करती है.
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ऐसे हुई शुरुआत
मल्लिका ने बताया धीरे-धीरे पेंटिंग्स का शौक आगे बढ़ने लगा और फिर अच्छे पैसे भी मिलने भी लगे. जिसके बाद मेरे माता-पिता ने मुझे सपोर्ट करना शुरू कर दिया. उन्होंने कहा उस वक्त मैंने मन बना लिया कि मैं खुद का बिजनेस ही शुरू करूंगी. क्योंकि मैं पेटिग्स की वजह से बेहतरीन डिजाइन बनाना सीख गई थी.
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ये था पहला क्लाइंट
मल्लिका की मां एक डॉक्टर हैं. जब मल्लिका अपने कॉलेज में थीं तो उनकी मां ने उनसे कहा कि वह क्लीनिक के लिए एक लोगो डिजाइन कर दें. बस ये वो वक्त था जब उनकी एक आंत्रप्रन्योर बनने की कहानी शुरू हो गई. उन्होंने बताया पहला क्लाइंट एक ऐसा व्यक्ति था जो अपना इलाज करवाने के लिए मेरी मां के क्लीनिक में आया था. उसने मुझसे अपनी कंपनी के ब्रोशर्स और कार्ड्स डिजाइन करने को कहे थे.
फिर क्या था इसके बाद मल्लिका का सफर शुरू हो गया. कॉलेज के दौरान उनके पास 6 क्लाइंट्स हो गए थे. बाद में क्लाइंट्स की संख्या बढ़ती गई. जिसके बाद उन्होंने ये बिजनेस गंभीरता से लेना शुरू कर दिया. बता दें, मल्लिका ने अपनी एक आंटी की बुक शॉप के कोने में अपना काम करना शुरू कर दिया. जिसके बाद दुकान में ही ऑफिस बना लिया. उनके साथ उनकी टीम भी काम करती है.