हाथ में बैडमिंटन और शटल पर तेज नजर, ये है बैडमिंटन क्वीन सायना नेहवाल की पहचान.
17 मार्च 1990 में हरियाणा, हिसार के जाट परिवार में जन्मीं सायना को बचपन से ही साई के नाम से जाना जाता है.
कह सकते हैं बैडमिंटन खेलना उनके खून में शामिल है. क्योंकि साइना के माता पिता दोनों ही बैडमिंटन खिलाड़ी थे, जिस वजह से सायना का बैडमिंटन की ओर रुझान बचपन से ही था.
जानते हैं सायना के जुड़ी खास बातें
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1. सायना दुनिया की शीर्ष वरीयता प्राप्त महिला बैडमिंटन खिलाड़ी हैं.
2. सायना ने शुरुआती प्रशिक्षण हैदराबाद के लाल बहादुर स्टेडियम, हैदराबाद में कोच नानी प्रसाद से प्राप्त किया.
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3. 16 साल की उम्र में पहला बड़ा इंटरनेशनल टूर्नामेंट जीता. 86 वीं वरीयता के बावजूद फिलीपींस ओपन अपने नाम किया.
4. 2006 में, सायना अंडर 19 राष्ट्रीय चैंपियन बनी और दो बार प्रतिष्ठित एशियन सैटेलाइट बैडमिंटन टूर्नामेंट (इंडिया चैप्टर) जीतकर इतिहास बनाया.
5. सायना ने हरियाणा के जाट परिवार में जन्म लिया है, जहां लड़कियों के लिए माहौल समानता का नहीं है और इसी वजह से एक इंटरव्यू में उन्होंने खुलासा किया कि 'जब मैं पैदा हुई थी तो मेरी दादी ने कई महीनो तक मेरा मुहं नहीं देखा. क्योंकि वो पोती नहीं बल्कि पोता चाहती थी.
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6. लंदन ओलंपिक में ब्रॉन्ज मेडल जीतने वाली पहली भारतीय महिला बनीं. साथ ही कॉमनवेल्थ 2010 में भारत को गोल्ड मेडल दिलाया.
7. जून 2009 में बैडमिंटन वर्ल्ड फेडरेशन सुपर सीरीज में अपना नाम दर्ज करवाने वाली पहली भारतीय बनीं.
8. सायना को अर्जुन पुरस्कार, राजीव गांधी खेल रत्न पुरस्कार और पद्म श्री पुरस्कार से सम्मानित किया गया हैं.
9. सायना सोशल मीडिया पर काफी एक्टिव रहती हैं. उनके फेसबुक फोलोअर्स (80 लाख से अधिक) हैं, जो वीनस (22 लाख) और सरेना विलियम्स (51 लाख से ज्यादा) से कहीं ज्यादा है.