दिल्ली के प्रगति मैदान में चल रहे विश्व पुस्तक मेले में पाठकों की भीड़ कम नहीं हो रही है. यहां अलग-अलग भाषाओं में कई प्रकाशक अपनी किताबें बेच रहे हैं, वहीं कई लोग ऐसे भी हैं जो मुफ्त में किताबें बेच रहे हैं. मुफ्त में किताबें बांटने वाले लोगों में किसी विशेष समुदाय, संगठन के लोग हैं, जो कि अपने विचारों के प्रसार के लिए पुस्तकें बांट रहे हैं.
इनमें सबसे ज्यादा चर्चाओं में अहमदिया मुस्लिम मिशन के लोग हैं, जो कि अपने धर्म के प्रचार और पैंगबर की शिक्षाओं को लेकर किताबें बांट रहे हैं. पुस्तक मेले में 12 और 12-ए हॉल में विभिन्न अहमदिया समुदाय के लोग अलग अलग भाषाओं की किताबें बांट रहे हैं. बता दें कि मुस्लिम अहमदियाओं को मुसलमान नहीं मानते हैं.
विश्व पुस्तक मेले में 'बुकचोर' भी, इस वजह से है खास
वहीं कुछ हिंदू संगठन के लोग भी अपने विचारों के प्रचार के लिए किताबें बांट रहे हैं और पुस्तक मेले में उन कथित धर्मगुरुओं के भी स्टॉल हैं, जो अभी जेल में है या फिर उनपर कई संगीन आरोप है. इसमें सबसे प्रमुख है आसाराम बापू. आसाराम बापू के भक्तों ने भी एक स्टॉल लगाई है, जिसमें आसाराम के गुणगान करने वाली कई किताबें और सीढ़िया मिल रही हैं.
आसाराम के अलावा भी कई बाबाओं की तस्वीरें, किताबें मिल रही हैं. वहीं हिंदू धर्म के कुछ लोग भी 10-10 रुपये में हिंदुत्व को लेकर छापी गई किताबें बांट रहे हैं. बता दें कि वहीं ईसाई धर्म से जुड़े लोग मुफ्त में बाइबिल जैसी धार्मिक किताबें मुफ्त में बांट रहे हैं.
सुर्खियों में है बुकचोर
विश्व पुस्तक मेले में 'बुकचोर' सुर्खियां बटोर रहा है. नाम पर मत जाइए, यहां चोरी की पुस्तकें नहीं मिलती हैं, बल्कि पुरानी किताबों को कम दामों पर बेचा जाता है. प्रगति मैदान के हॉल नंबर 10 में 'बुकचोर' का स्टॉल दूर से ही लुभाता है. बांस से बनी बुकशेल्फ रह-रहकर पाठकों के कदम रोक लेती हैं.