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Delhi Chunav: 'मुद्दों को मिक्स मत कीजिए...', 'यमुना में जहर' पर EC ने केजरीवाल से पूछे ये 5 सवाल, कल तक मांगा जवाब

दिल्ली के पू्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने 'यमुना के पानी में जहर' को लेकर एक बयान दिया था. इस बयान के बाद चुनाव आयोग ने उनसे 5 सवाल सवालों के जवाब मांगे हैं. ये जवाब केजरीवाल को कल यानी 31 जनवरी को 11 बजे तक देना है.

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Arvind Kejriwal (File Photo)
Arvind Kejriwal (File Photo)

दिल्ली चुनाव से पहले 'यमुना में जहर' वाले बयान पर अरविंद केजरीवाल की मुसीबतें कम होने का नाम नहीं ले रही हैं. चुनाव आयोग ने इस मामले पर AAP चीफ केजरीवाल से 5 सवाल पूछते हुए कल 11 बजे तक जवाब देने के लिए कहा है.

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इन सवालों का देना होगा जवाब

1. हरियाणा सरकार ने यमुना नदी में किस प्रकार का जहर मिलाया?

2. इस जहर की मात्रा, प्रकृति और इसे पहचानने की विधि का क्या प्रमाण है, जिससे नरसंहार हो सकता था?

3. जहर कहां पर पाया गया था?

4. दिल्ली जल बोर्ड के किन इंजीनियरों ने इसे कहां और कैसे पहचाना?

5. इंजीनियरों ने जहरीले पानी को दिल्ली में प्रवेश करने से रोकने के लिए कौन सा तरीका अपनाया?

ये भी पढ़ें: 'यमुना पर बयान जनहित के लिए की गई टिप्पणी', चुनाव आयोग के नोटिस पर केजरीवाल का जवाब 

यमुना को लेकर क्या है विवाद?

बता दें कि 27 जनवरी को एक चुनावी रैली को संबोधित करते हुए दिल्ली के पूर्व सीएम अरविंद केजरीवाल ने हरियाणा की तरफ से दिल्ली को उपलब्ध कराए जा रहे पानी की खराब गुणवत्ता का मुद्दा उठाया था. केजरीवाल ने कहा था,'लोगों को पानी से वंचित करना, इससे बड़ा पाप कुछ भी नहीं है. भाजपा अपनी गंदी राजनीति से दिल्ली की जनता को प्यासा छोड़ना चाह रही है. वे हरियाणा से भेजे जा रहे पानी में जहर मिला रहे हैं. केजरीवाल ने आगे कहा था,'यह प्रदूषित पानी इतना जहरीला है कि इसे दिल्ली में मौजूद वाटर ट्रीटमेंट प्लांट की मदद से उपचारित नहीं किया जा सकता है. भाजपा दिल्लीवासियों की सामूहिक हत्या करना चाहती है. पर हम ऐसा नहीं होने देंगे.'

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BJP-कांग्रेस ने उठाए सवाल

अरविंद केजरीवाल की इस टिप्पणी के बाद भाजपा और कांग्रेस ने तीखी प्रतिक्रिया दी थी. दोनों ने केजरीवाल के दावों की सत्यता पर सवाल उठाया था. इसके बाद चुनाव आयोग ने अरविंद केजरीवाल को नोटिस जारी किया था और उनसे अपने बयानों के समर्थन में तथ्यात्मक सबूत उपलब्ध कराने को कहा था. केजरीवाल को पहले 29 जनवरी की रात 8 बजे तक की डेडलाइन दी गई थी. अरविंद केजरीवाल ने जवाब दाखिल किया था और अपने दावों के समर्थन में दिल्ली जल बोर्ड के CEO के पत्र का हवाला दिया था. उन्होंने कहा था कि ये टिप्पणियां एक नागरिक मुद्दे को उजागर करने के लिए की गई थीं.

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