महाराष्ट्र चुनाव में महायुति गठबंधन की जीत के बाद पीएम मोदी ने दिल्ली में भाजपा कार्यकर्ताओं को संबोधित किया. इस दौरान उन्होंने कांग्रेस पार्टी पर भी जमकर निशाना साधा. पीएम ने वक्फ बोर्ड, परिवारवाद और अनुच्छेद-370 का जिक्र करके कांग्रेस को घेरा. प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि कांग्रेस अब परजीवी पार्टी बनकर रह गई है. कांग्रेस सिर्फ अपनी ही नहीं अपने साथियों के नाव को भी डुबो देती है. आज महाराष्ट्र में भी हमने यही देखा है. ये दिखाता है कि कांग्रेस खुद को डूबती है और दूसरों को भी डुबो देती है. महाराष्ट्र में सबसे ज्यादा सीटों पर कांग्रेस चुनाव लड़ी और उतनी ही बड़ी हार इनके सहयोगियों को भी मिली. अच्छा है यूपी जैसे राज्य में कांग्रेस के सहयोगियों ने उनसे जान छुड़ा ली, वरना वहां भी सहयोगियों को लेने के देने पड़ जाते.
'370 को कोई वापस नहीं ला सकता'
पीएम मोदी ने कहा कि आज महाराष्ट्र के जनादेश का एक और संदेश है, पूरे देश में सिर्फ और सिर्फ एक ही संविधान चलेगा. वो संविधान है बाबा साहेब अंबेडकर का संविधान, भारत का संविधान, जो भी सामने या परदे के पीछे देश में दो संविधान की बात करेगा, उसको देश पूरी तरह से नकार देगा. कांग्रेस वालों और उनके साथियों सुन लो दुनिया की कोई भी ताकत 370 को वापस नहीं ला सकती.
अर्बन नक्सलवाद को लेकर कांग्रेस पर निशाना
पीएम मोदी ने अपने भाषण में अर्बन नक्सलवाद का जिक्र करते कांग्रेस पर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि आज कांग्रेस का अर्बन नक्सलवाद भारत के सामने एक नई चुनौती बनकर खड़ा हो गया है. इन अर्बन नक्सलियों का रिमोट कंट्रोल देश के बाहर है और इसलिए सभी को अर्बन नक्सलवाद से बहुत सावधान रहना है.
'ये वो कांग्रेस नहीं...'
पार्टी कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए मोदी ने कहा, देश के अलग-अलग हिस्सों में कांग्रेस के पुराने लोग हैं, जो अपने जमाने की कांग्रेस को ढूंढ रहे हैं. आज की कांग्रेस की आदत, व्यवहार से साफ पता चल रहा है कि ये वो कांग्रेस नहीं है. कांग्रेस में आतंरिक रूप से असंतोष बढ़ रहा है. भीतर बहुत बड़ी आग है. असंतोष की ज्वाला भड़क चुकी है. एक परिवार को कांग्रेस चलाने का हक है. केवल वही काबिल हैं, बाकी सब नहीं. इनकी ये सोच ने किसी भी समर्थित कार्यकर्ता के लिए वहां काम करना मुश्किल कर दिया है.
'एक परिवार ने अपनी ही पार्टी को खा लिया'
PM ने कहा, 'आज यही कांग्रेस और उसका परिवार खुद दी सत्ता भूख को शांत करने के लिए जातिवाद का जहर फैला रहा है. इन लोगों ने सामाजिक न्याय का गला घोंट दिया है. एक परिवार की सत्ता भूख इतनी चरम पर है कि उन्होंने अपनी पार्टी को खा लिया है.'