पश्चिम बंगाल में चुनाव की घोषणा हो गई है. यहं पर आठ फेज में चुनाव होगा. 27 मार्च को पहले चरण की वोटिंग होगी. एक अप्रैल को दूसरे फेज का मतदान, 6 अप्रैल को तीसरे फेज का मतदान, 10 अप्रैल को चौथे फेज का मतदान, 17 अप्रैल को पांचवे फेज का मतदान, 22 अप्रैल को छठे फेज का मतदान, 26 अप्रैल को सातवें फेज का मतदान और 29 अप्रैल को आखिरी आठवें फेज का मतदान होगा.
चुनाव आयोग ने बताया कि पश्चिम बंगाल में एक लाख से ज्यादा मतदान केंद्रों पर वोट डाले जाएंगे. कोरोना को देखते हुए सभी राज्यों में मतदान केंद्र बढ़ाए गए हैं. इसके अलावा मतदान का समय भी एक घंटा बढ़ाया गया है. कोरोना को देखते हुए सभी चुनाव अधिकारियों का टीकाकरण किया जाएगा.
मुख्य चुनाव आयुक्त (सीईसी) सुनील अरोड़ा ने कहा कि पश्चिम बंगाल में 2016 में 77,413 चुनाव केंद्र थे अब 1,01,916 चुनाव केंद्र होंगे. सभी सीटों के लिए वोटो की गिनती 2 मई को होगी.
चुनाव आयोग के सूत्रों के मुताबिक बंगाल में शांतिपूर्ण चुनाव संपन्न कराने के लिए केंद्रीय सुरक्षा बलों की 125 कंपनियों की तैनाती की जाएगी. पश्चिम बंगाल में एक लाख से ज्यादा मतदान केंद्रों पर वोट डाले जाएंगे. कोरोना को देखते हुए सभी राज्यों में मतदान केंद्र बढ़ाए गए हैं.
इसमें सीआरपीएफ की 60 कंपनी, बीएसएफ की 25 कंपनी, एसएसबी की 30 कंपनी, सीआईएसएफ की 5 कंपनी और आईटीबीपी की 5 कंपनियां शामिल हैं.
बंगाल में विधानसभा की 294 सीटें है. पिछले चुनाव में तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) ने शानदार प्रदर्शन करते हुए 211 सीटों पर जीत दर्ज की थी. दूसरे नंबर पर कांग्रेस थी, जो सिर्फ 44 सीट जीतने में कामयाब रही थी. 2016 के चुनाव में बीजेपी सिर्फ तीन सीट जीत सकी थी, लेकिन इस बार का मुकाबला टीएमसी और बीजेपी के बीच ही बताया जा रहा है.