बिहार के औरंगाबाद में पुलिस ने गाड़ी चेकिंग के दौरान एक बिजनेसमैन से 65000 रुपये जब्त किए. पैसे वापस नहीं मिलने पर बिजनेसमैन ने पुलिस पर पैसे छीन लेने और कोई पर्चा नहीं देने का आरोप लगाया है.
ये मामला औरंगाबाद के दाउदनगर के भखरुआं बाजार रोड का है. जहां बिजनसमैन स्वर्ण कुमार ऑटोमोबाइल एजेंसी चलाते हैं. उन्होंने बताया कि रविवार को मनरेगा अफसर पंकज कुमार और हसपुरा के पुलिस अफसर के पी सिंह ने गाड़ी की चेकिंग की. जब कुछ नहीं मिला तो हम लोगों की चेकिंग करने लगे. जिसमें उनके पास 30 हजार और उनके दोनों बेटों के पास 35 हजार रुपये थे. दोनों अफसरों ने पैसे छीन लिए.
बिजनसमैन ने आरोप लगाया कि दोनों अफसरों कह रहे थे कि पूरा व्यवसायी वर्ग बिजनसमैन को वोट देने पर तुला हुआ है. बार-बार मीटिंग कर रहा है. आज तुम लोग पकड़े गए, देखते हैं कौन बचाएगा. बिजनसमैन ने अफसरों पर गाली गलौज करते हुए जब्ती सूची नहीं देने का आरोप लगया. उन्होंने डीएम से अफसरों के खिलाफ कार्रवाई करने का अनुरोध करते हुए कहा है कि उन्हें उन पैसों को वापस दिलाया जाए.
बिजनसमैन ने डीएम के अलावा एसपी और अनुमंडल अफसर और बिहार राज्य निर्वाचन आयोग को भी आवेदन भेजा है. बिजनसमैन ने बताया कि घटना के बाद उन्होंने सभी अफसरों को ईमेल द्वारा आवेदन भेज दिया है. लेकिन अभी तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है. उनका कहना है कि अगर अफसरों के खिलाफ कार्रवाई नहीं की गई तो वे इस मामले को लेकर मानवाधिकार आयोग भी जा सकते हैं.
वहीं मनरेगा ऑफिसर पंकज कुमार ने बताया कि जांच पड़ताल के दौरान 65 हजार जब्त किए गए हैं. छीनने की कोई घटना नहीं हुई है. वह पैसा आचार संहिता के उल्लंघन के कारण जब्त किए गए हैं.
(इनपुट-अभिनेश कुमार सिंह)
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