
बिहार विधानसभा चुनाव 2020 में इस बार बरौली विधानसभा सीट पर मुकाबला टक्कर का देखने को मिला. 2015 में इस सीट से राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के नेमतुल्लाह जीते थे. वहीं 2015 में इस सीट पर मुकाबला टक्कर का देखा गया था और कुछ ही वोटों से बीजेपी इस सीट को हार गई थी. हालांकि इस बार बीजेपी ने इस सीट से जीत हासिल की है.
बरौली विधानसभा सीट पर 3 नवंबर 2020 को मतदान हुआ. इस सीट से आरजेडी ने रियाजुल हक को टिकट दी. इसके अलावा बीजेपी ने राम प्रवेश राय को टिकट दी. यहां 58.18 फीसदी मतदान हुआ. वहीं बरौली से बीजेपी ने जीत हासिल की है. बीजेपी के रामप्रवेश राय को 81426 वोट मिले हैं. वहीं आरजेडी के रियाज को 66933 वोट हासिल हुए.
बरौली विधानसभा सीट पर पिछले कई चुनाव में लगातार भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) का कब्जा देखने को मिला था. हालांकि साल 2015 के विधानसभा चुनाव में आरजेडी ने बरौली विधानसभा सीट पर कब्जा जमाया था. 2015 में महज कुछ ही वोटों से बीजेपी इस सीट पर फिर से जीत दर्ज करने में नाकाम साबित हुई थी. 2015 के चुनाव में आरजेडी के नेमतुल्लाह इस सीट से 504 वोटों से विजेता बने थे.
बरौली विधानसभा सीट
बरौली विधानसभा बिहार के गोपालगंज जिले में स्थित है. 2011 की जनगणना के अनुसार यहां कुल 398969 जनसंख्या में से 89.5% ग्रामीण है और 10.5% शहरी आबादी है. अनुसूचित जाति (एससी) और अनुसूचित जनजाति (एसटी) का अनुपात कुल जनसंख्या से क्रमशः 12.22 और 1.04 है. 2019 की मतदाता सूची के अनुसार इस निर्वाचन क्षेत्र में 284585 मतदाता और 285 मतदान केंद्र हैं.
2015 विधानसभा चुनाव
बरौली विधानसभा सीट पर 2015 विधानसभा चुनाव में मुकाबला काफी टक्कर का देखने को मिला था. बीजेपी के खाते से इस सीट को आरजेडी अपने कब्जे में करने में कामयाब रही. 2015 के विधानसभा चुनाव में आरजेडी के नेमतुल्लाह को इस सीट से 61690 वोट मिले तो वहीं बीजेपी के राम प्रवेश राय को 61186 वोट हासिल हुए थे. 2015 के विधानसभा चुनाव में यहां मतदान 59.24% था. 2015 में बीजेपी को 40.12% और आरजेडी को 40.45% वोट मिले थे. तब कुल मतदाता 257495 थे और कुल 152510 लोगों ने मतदान किया था.
राजनीतिक पृष्ठभूमि
बरौली विधानसभा सीट पर पिछले कई विधानसभा चुनाव में बीजेपी का दबदबा देखने को मिला है. वहीं बीजेपी के राम प्रवेश राय की इस विधानसभा क्षेत्र में काफी मजबूत पकड़ देखने को मिलती है. 1985 और 1995 के विधानसभा चुनाव में बीजेपी और 1990 के विधानसभा चुनाव में जेएनपी (जेपी) की तरफ से चुनाव लड़ने वाले राम प्रवेश तब इस सीट पर दूसरे नंबर पर रहे थे. हालांकि इसके बाद 2000, फरवरी 2005, अक्टूबर 2005 और 2010 के चुनाव में राम प्रवेश राय ने बीजेपी की टिकट पर लगातार 4 बार जीत दर्ज की. हालांकि 2015 के चुनाव में मामूली वोटों के अंतर से इस सीट पर राम प्रवेश को हार का सामना करना पड़ा.