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बिहार के पूर्व DGP गुप्तेश्वर पांडेय बोले- राजनीति में जाऊंगा-जाऊंगा, आंदोलन चलाऊंगा

आजतक से बात करते हुए गुप्तेश्वर पांडेय ने कहा कि सिविल सोसायटी अब कोई आंदोलन नहीं करता है. मेरा मकसद है कि सिविल सोसायटी आगे आए और इसी मकसद को लेकर राजनीति में जाऊंगा.

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बिहार के पूर्व DGP गुप्तेश्वर पांडेय
बिहार के पूर्व DGP गुप्तेश्वर पांडेय
स्टोरी हाइलाइट्स
  • पूर्व DGP ने आजतक से की खास बातचीत
  • गुप्तेश्वर पांडेय ने राजनीति में आने की बात कबूली
  • कहा- सिविल सोसायटी को जगाने का है मकसद

बिहार के पूर्व डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने आखिर आधिकारिक तौर पर मान लिया कि वह राजनीति में जाएंगे. आजतक से बात करते हुए गुप्तेश्वर पांडेय ने कहा कि सिविल सोसायटी अब कोई आंदोलन नहीं करता है. मेरा मकसद है कि सिविल सोसायटी आगे आए और इसी मकसद को लेकर राजनीति में जाऊंगा, अगर ये नहीं कर पाया तो मेरे राजनीति में जाने का मतलब नहीं रहेगा.

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पूर्व डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने कहा कि क्या कारण है कि 1974 में जयप्रकाश नारायण की अगुवाई में जो व्यापक सामाजिक जनाधार वाला आंदोलन उभरा, उसके बाद आजतक उतना व्यापक जनाधार वाला आंदोलन खड़ा ही नहीं हुआ. सामाजिक जनाधार का मतलब जिसमें जाति का बंधन टूट गया हो, मजहब का बंधन टूट गया हो. सभी लोग व्यवस्था परिवर्तन के लिए एक मंच पर एक साथ खड़े हो, लेकिन ऐसा आंदोलन नहीं हुआ.

पूर्व डीजीपी गुप्तेश्वर पांडेय ने कहा कि आज सिविल सोसायटी बंटी हुई है. यहां तो जाति के नाम सब बंटे हुए हैं. मुखिया, सरपंच, विधायक, मंत्री, मुख्यमंत्री, प्रधानमंत्री तक अपनी जाति का चाहिए. हजारों जातियों हैं, अगर कोई यही सोचने लगेगा तो फिर देश कहां जाएगा. नागासाकी हिरोशिमा के बाद जापान अपने पैरों पर खड़ा हुआ. ऐसे ही समाज को बदलेंगे, इसलिए ही मैं राजनीति में जाऊंगा, जाऊंगा, जाऊंगा.

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हालांकि, इसी इंटरव्यू के दौरान गुप्तेश्वर पांडेय ने कहा था कि मैंने अभी राजनीति में उतरने पर फैसला नहीं किया है. उन्होंने कहा था कि  मैं बिहार के किसी भी विधानसभा सीट से चुनाव लड़कर जीत सकता हूं, वह भी निर्दलीय. 14 सीटों से चुनाव लड़ने का ऑफर है, लेकिन मैं अभी राजनीति में जाने को लेकर फैसला नहीं किया है. जो भी होगा, पहले अपने लोगों से सलाह मशविरा करूंगा फिर इसका ऐलान करूंगा.

 

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