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कोचाधामन विधानसभा सीट पर 67.1% वोटिंग, हैट्रिक की तैयारी में JDU

साल 2010 में आरजेडी के अख्तरुल ईमान विधायक बने थे, लेकिन अख्तरुल ईमान के इस्तीफा देने पर यहां 2014 में हुए उपचुनाव में मुजाहिद आलम ने बाजी मारी थी. वहीं, 2015 के विधानसभा चुनाव में मुजाहिद आलम दूसरी बार जीते, उन्होंने AIMIM के टिकट पर लड़ रहे अख्तरुल ईमान पटखनी दी.

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Kochadhaman Vidhan Sabha constituency
Kochadhaman Vidhan Sabha constituency
स्टोरी हाइलाइट्स
  • साल 2010 में अस्तित्व में आई थी सीट
  • जेडीयू के मुजाहिद आलम विधायक हैं
  • 2014 उपचुनाव में भी मारी थी बाजी

कोचाधामन विधानसभा क्षेत्र परिसीमन के बाद साल 2010 में अस्तित्व में आया था. पहले यह क्षेत्र किशनगंज विधानसभा में शामिल था. जिले में सर्वाधिक मुस्लिम मतदाता का प्रतिशत इसी विधानसभा में है. वर्तमान विधायक जेडीयू के मुजाहिद आलम विधायक हैं. इस बार तीसरे चरण के तहत यहां 67.1% वोटिंग हुई है.

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साल 2010 में आरजेडी के अख्तरुल ईमान विधायक बने थे, लेकिन अख्तरुल ईमान के इस्तीफा देने पर यहां 2014 में हुए उपचुनाव में मुजाहिद आलम ने बाजी मारी थी. वहीं, 2015 के विधानसभा चुनाव में मुजाहिद आलम दूसरी बार जीते, उन्होंने AIMIM के टिकट पर लड़ रहे अख्तरुल ईमान पटखनी दी थी.

इन उम्मीदवारों पर रहेगी नजर 

1- मुजाहिद आलम (JDU)
2- शाहिद आलम (RJD)
3- मोहम्मद इजहार (AIMIM)

अब 2020 विधानसभा चुनाव में जेडीयू के मुजाहिद आलम जीत की हैट्रिक लगाने की तैयारी में हैं. हालांकि उनकी राह इस बार आसान नहीं होगी क्योंकि क्षेत्र में AIMIM की भी मजबूत पकड़ है. ये सीट उस वक्त चर्चाओं में आई थी जब 2014 में AIMIM चीफ ने अख्तरुल ईमान को मैदान में उतारा था. 

कोचाधामन विधानसभा क्षेत्र का गठन नए परिसीमन होने पर कोचाधामन प्रखंड की सभी 24 पंचायत व किशनगंज प्रखंड की छह पंचायतों को शामिल करके हुआ है. इससे पूर्व कोचाधामन प्रखंड किशनगंज विधानसभा क्षेत्र का हिस्सा था, जिसके विधायक आरजेडी के अख्तरुल ईमान थे. 

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2015 में क्या था वोटरों का मिजाज

कुल वोटर लगभग- 216620
पुरुष-53.05%
महिलाएं-49.95%
 

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