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मांझी विधानसभा सीटः यहां है JDU का दबदबा, क्या इस बार भी कांग्रेस को मिलेगी जीत?

जेडीयू का गढ़ माने जाने वाले मांझी विधानसभा सीट पर इस बार का चुनावी समिकरण बेहद दिलचस्प है. पिछली बार जेडीयू के सहारे जीत हासिल करने वाली कांग्रेस इस बार विरोधी खेमे में है.

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INC MLA Vijay Shanker Dubey With Rabri Devi
INC MLA Vijay Shanker Dubey With Rabri Devi

बिहार में विधानसभा चुनाव की प्रक्रिया पूरी हो गई है, तीन चरणों में हुए चुनावों में इस बार कुल 59.94 फीसदी वोटिंग हुई है. अब 10 नवंबर को नतीजों का इंतजार है. बिहार की मांझी विधानसभा सीट पर इस बार 3 नवंबर को वोट डाले गए, यहां कुल 52.24% मतदान हुआ. बिहार के मांझी विधानसभा सीट पर इस बार का चुनावी समिकरण बेहद दिलचस्प है. इस सीट से कांग्रेस नेता विजय शंकर दुबे विधायक हैं. दरअसल, कांग्रेस पिछली बार जेडीयू-आरजेडी महागठबंधन का हिस्सा थी और ये सीट कांग्रेस के खाते में गई थी. यही कारण है कि जेडीयू का गढ़ माने जाने वाले मांझी में कांग्रेस को भी नीतीश कुमार की पार्टी का समर्थन मिला और जीत हासिल कर ली. लेकिन इस बार जेडीयू बीजेपी के साथ है और कांग्रेस आरजेडी के साथ. ऐसे में इस सीट पर इस बार दिलचस्प मुकाबला होने वाला है.

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राजनीतिक पृष्ठभूमि
इस विधानसभा सीट पर 16 बार हुए चुनावों में सबसे ज्यादा 7 बार कांग्रेस को जीत मिली है. वहीं, जनता दल यूनाइटेड उम्मीदवार तीन बार यहां से जीतने में सफल रहे हैं. 

इस सीट पर जेडीयू का दबदबा माना जाता है. इसका अंदाजा इसी बात से लगाया जा सकता है कि 2015 से ठीक पहले के तीन चुनावों में जेडीयू के गौतम सिंह ने इस सीट पर कब्जा किया था. लेकिन 2015 के विधानसभा चुनावों में कांग्रेस के महागठबंधन का हिस्सा होने के कारण यह सीट उसके झोली में गई और कांग्रेस उम्मीदवार को जीत भी हासिल हुई.

सामाजिक ताना बाना
मांझी विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र बिहार के सारण जिले में आता है. महराजगंज लोकसभा क्षेत्र के अंतर्गत आने वाले इस विधानसभा में करीब 399628 आबादी रहती है. यहां अभी तक शहरीकरण नहीं हुआ है, पूरी की पूरी आबादी ग्रामीण है. यहां की जनसंख्या में 12.64 फीसदी आबादी अनुसूचित जाति (एससी) से है और अनुसूचित जनजाति (एसटी) का हिस्सा 3.6 फीसदी है.

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2015 का जनादेश
2019 के लोकसभा चुनावों में यहां 51.8 फीसदी लोगों वोटिंग की थी. वहीं 2015 के विधानसभा चुनावों में यहां वोट परसेंटेज 50.73 फीसदी था. 2015 में कांग्रेस को 20.57 फीसदी वोट हासिल हुए थे. वहीं, दूसरे नंबर पर रही लोजपा को 14.4 फीसदी, सीपीएम को 12.39 फीसदी, निर्दलीय उम्मीदवार को 9.97 फीसदी और समाजवादी पार्टी के उम्मीदवार को 9.36 फीसदी वोट प्राप्त हुए थे.

दूसरे चरण में 3 नवंबर 2020 को इस सीट पर वोट डाले जाएंगे. चुनाव के नतीजे 10 नवंबर को आएंगे.

इस बार के मुख्य उम्मीदवार

  • जेडीयू - माधवी कुमारी
  • लेफ्ट - सत्येंद्र यादव
  • एलजेपी - सौरभ कुमार पांडेय
  • आरएलएसपी - ओम प्रकाश प्रसाद
     

मौजूदा विधायक का रिपोर्ट कार्ड
1948 में सिवान जिले के गयासपुर में जन्में विजय शंकर दूबे पुराने कांग्रेसी नेता माने जाते हैं. उन्होंने साल 1977 में राजनीति में कदम रखा और जब 1977-78 के दौरान इंदिरा गांधी की गिरफ्तारी हुई तो इन्होंने भी राजनीतिक यातनाएं झेलीं. इसके बाद 1980, 1985, 1990, 2000 और 2015 विधानसभा चुनाव जीते. विधायक के अलावा दुबे सिवान कॉपरेटिव बैंक के सचिव रहे. बिहार सरकार में कई विभागों के मंत्री भी रह चुके हैं. 

 

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