गुजरात चुनाव को लेकर आयोजित पंचायत आजतक के मंच पर पाटीदार नेता हार्दिक पटेल, पिछड़ी जाति के नेता अल्पेश ठाकोर और दलित नेता जिग्नेश मेवाणी एक साथ आए. तीनों युवा नेताओं ने गुजरात की बीजेपी सरकार के खिलाफ जमकर भड़ास निकाली. गुजरात विधानसभा चुनाव में बीजेपी सरकार को सत्ता से बेदखल करने की बात भी एकसुर में तीनों ने कही. इस सत्र का संचालन अंजना ओम कश्यप ने किया.
हार्दिक ने कहा कि भारत की पहचान ही अनेकता में एकता है. जब से देश है तब से जाति है. एक करोड़ 20 लाख पाटीदार हैं. मै जिस कौम से आता हूं उसकी बात करना मेरा फर्ज है. पटेल ने कहा कि यदि मोदी सरकार या कोई भी सरकार अंग्रेज बनने की कोशिश करेगी तो आम आदमी के पास भगत सिंह बनने के अलावा और कोई विकल्प नहीं है.
हार्दिक ने कहा कि संविधान में आरक्षण की बात कही गई है, तो उसी संविधान में सबके अधिकार की भी बात कही गई है. आज पटेल समुदाय की हालत काफी खराब है. इसलिए उसे आरक्षण मिलना चाहिए. ओबीसी कोटे को 27 फीसदी से बढ़ाकर 30 से 32 फीसदी करें और पटेलों को ओबीसी में शामिल करें. पाटीदारों को आरक्षण चाहिए सरकार चाहे जहां से लाकर दे.
उन्होंने कहा कि आरक्षण को खत्म करने की बात कौन कर रहा है? बाबा साहब ने आरक्षण को खत्म करने की बात कभी नहीं कहीं, बल्कि समीक्षा करने की बात कही है. जाति मेरा ऑक्सीजन नहीं है.
बुलेट ट्रेन से नहीं होगा विकास
उन्होंने कहा कि बुलेट ट्रेन से गुजरात का विकास नहीं होगा. बुलेट ट्रेन का फंड गुजरात के विकास में लगाएं, ताकि गुजरात के युवाओं को रोजगार मिल सके. उन्होंने कहा कि मुझे दलित, ओबीसी से कोई दिक्कत नहीं है. हम तीनों एक ही प्लेट में खाना खा रहे थे. इससे बेहतर क्या हो सकता है.
पटेल बोले- मैं कांग्रेस की बी टीम नहीं
हार्दिक ने कहा कि इस बार का विधानसभा चुनाव गुजरात के 6 करोड़ आवाम का है, जो बीजेपी के खिलाफ है. इसका फायदा किसे मिलेगा सब जानते हैं. मुझे कांग्रेस की बी टीम कहते हैं तो कहे. मै सत्ता के खिलाफ हूं, और दम लगाकर बीजेपी को हराएंगे. ये लड़ाई हमारे जैसे यूथ की है. 22 साल से सत्ता में बैठे लोग ने क्या क्या है सब जगजाहिर है.
हार्दिक ने कहा कि मुझे अपने आंदोलन पर गर्व हैं. मै दम लगाकर कहता हूं कि मुझे आरक्षण चाहिए. मेरे समुदाय के बच्चे को मार दिया जाता है. सरकार में बैठे लोग नपुशंक हैं. महिलाओं पर अत्याचार करते हैं. ऐसी सरकार को सत्ता से उखाड़ने के लिए हम किसी भी हद तक जा सकते हैं. मै जेल गया हूं और मुझे परेशान करने के लिए क्या क्या नहीं किया. रात के 12 बजे जेल का गेट खुलवाया जाता था और मेरी बैरक भी खुलवाते थे. कानून का मजाक बनाया जा रहा है.
हार्दिक ने कहा कि संवैधानिक तौर पर आरक्षण देती हैं तो निश्चित रूप से आंदोलन खत्म कर देती है. हम संवैधानिक तौर चुनाव लड़ने के लिए उम्र नहीं है.
गुजरात सरकार के नाक के नीचे बेची जा रही शराब: अल्पेश ठाकुर
ओबीसी नेता अल्पेश ठाकुर ने कहा कि मेरी लड़ाई अधिकार के लिए है. गुजरात की बात 7 लाख युवा बेरोजगार है. गरीब पाटीदारों को उनका हक मिलना चाहिए. देखिए आरक्षण को जो अधिकार मिले हैं उसका एंपीलिमेंट होना चाहिए. उन्होंने कहा कि ओबीसी एससी एसटी के लोगों को वो सब अधिकार मिले जो संपन्न समाज के लोगों को मिले हुए हैं.
अल्पेश ने कहा कि देशी शराब से चलते सैकड़ों लोग हर साल मरते हैं. गुजरात में देशी शराब लगातार बेची जा रही है. सरकार के नाम के नीचे शराब बेची जा रही है और सरकार हाथ पर हाथ रखे बैठी है.
अल्पेश ठाकुर ने कहा कि आज गुजरात की हालत बहुत खराब है. विकास की बात की जाती है, वह सिर्फ दिखावा है. आज गुजरात के लाखों लोगों के पास रोजगार नहीं है और किसान परेशान है. गुजरात का विकास हुआ होता और युवाओं को रोजगार मिला तो हार्दिक अल्पेश और जिग्नेश मेवानी खड़े नहीं होते.
अल्पेश ने कहा कि गुजरात में शिक्षा का निजीकरण कर दिया गया है. हमारी लड़ाई सिस्टम से है. दो करोड़ लोगों से रोजगार देने का वादा किया था, लेकिन किसे रोजगार मिला.
गुजरात में आई में बाढ़ ने तबाह कर दिया, सरकार ने उन्हें मुआवजा दे दिया गया जिनका नुकसान भी नहीं हुआ. गुजरात सरकार ने पाटीदार को बुलाया और बात की, क्योंकि ये समृध सियासी तौर पर ताकतवर है. लेकिन हमारी समस्या को सुनने के लिए बुलाया नहीं. इससे सरकार की मंशा को समझा जा सकता है. अल्पेश ने कहा कि हमे लाख सरकार डराए लेकिन हम डरने वाले नहीं है.
मोदी जब गुजरात आते हैं पुलिस हमें उठा लेती है-जिग्नेश मेवानी
जिग्नेश मेवानी ने कहा मोदी जी जितने बार गुजरात आते हैं, उतनी बार पुलिस मुझे सुबह सवा 6 बजे उठा लेती है. मुझसे आखिर क्या डर है? मेरे घर पर 24 घंटे पुलिस लगा दी जाती है, मुझे डराया जा रहा है. ये गंभीर सवाल है. जिग्नेश ने कहा कि मुझे कोई धरना करना है तो मुझे करने देना चाहिए. ऊना में दलित को न पीटा जाता और उत्पीढ़न नहीं होता तो 50 लाख दलित सड़क पर नहीं आते हैं.
उन्होंने कहा कि गुजरात में जमीन दलितों को बांटी गई है उसका पट्टा नहीं मिला. सरकार बात नहीं करती है. गुजरात में 7 फीसदी दलित हैं लेकिन देश में 17 फीसदी हैं. अगर हम तीनों मिलकर बीजेपी को 130 सीटों पर नुकसान करेंगे.
जिग्नेश ने कहा कि दलित आंदोलन का मकसद का सत्ता नहीं है. हमारा संघर्ष जातिमूलक समाज की स्थापना है. उन्होंने कहा कि हम गुजराती बनकर सवाल उठा रहे हैं. नर्मदा नदी के किनारे बसे लोगों को बसाया जाता तो आज लोग धरने पर नहीं बैठते.
जिग्नेश ने कहा कि इस बार के गुजरात विधानसभा के चुनाव में जाति के नाम पर वोट नहीं पड़ेगा, बल्कि बीजेपी को सत्ता से बेदखल करने के लिए पड़ेगा.
जिग्नेश ने कहा कि गुजरात में बुलेट ट्रेन लाई जा रही है, लेकिन राज्य में लाखों बच्चे कुपोषित हैं, अस्पताल में खून के धब्बे वाली चादर मिलती है. आज जीडीपी की हालत क्या है. इन सबके के खिलाफ खड़े हो तो सरकार डराने का काम करती है. उन्होंने कहा कि सरकार के पक्ष में रहो तो देश प्रेमी है और जो सरकार के खिलाफ के विरोध और धरना करता है उसे देश द्रोही करार दे दिया जाता है.