रमजान में चुनाव तारीखों पर सियासी बवाल के बीच ऑल इंडिया मजलिस-ए इत्तेहादुल मुस्लिमीन (AIMIM) के अध्यक्ष और सांसद असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि जो ऐसा कह रहे हैं वो मुसलमानों को समझते नहीं हैं.
मई महीने में आखिरी तीन चरण के लिए होने वाले मतदान रमजान के दौरान होंगे, इस पर तृणमूल कांग्रेस और आम आदमी पार्टी ने ऐतराज जताया है. इन दलों का कहना है कि रमजान में मुस्लिम मतदाताओं को वोट करने में परेशानी होगी, जिसका लाभ बीजेपी को मिलेगा. इस घमासान पर असदुद्दीन ओवैसी ने कहा है कि इस मसले को बेवजह विवादित बनाया जा रहा है.
ओवैसी ने कहा, 'चुनाव एक लंबी प्रक्रिया है. एक मुस्लिम होने के नाते मैं रमजान में चुनाव का स्वागत करता हूं. इस महीने में मुसलमान ज्यादा जज्बे के साथ काम करते हैं.'
चुनाव आयोग ने कल (10 मार्च) तारीखों का ऐलान करते हुए कहा था कि सभी पर्व-त्योहारों का इसमें ध्यान रखा गया है. ओवैसी ने इसका समर्थन करते हुए कहा कि रमजान के पहले या बाद में चुनाव की उम्मीद करना सही नहीं है. उन्होंने कहा कि मुसलमान रोजे रखते हैं और वोट भी करते हैं. यहां तक कि ओवैसी ने ये भी दावा किया कि रमजान में मुसलमानों का वोट प्रतिशत बढ़ेगा.
रविवार शाम चुनाव तारीखों की घोषणा के बाद दिल्ली की ओखला विधानसभा सीट से विधायक अमानतुल्लाह खान और इस्लामिक स्कॉलर खालिद रशीद फिरंगी महली ने रमजान में चुनाव को लेकर सवाल उठाए, जिसके बाद यह विवाद गर्मा गया. जल्द ही तृणमूल कांग्रेस भी इसमें कूद गई और आरोप लगा दिया कि बीजेपी नहीं चाहती कि मुसलमान वोट करें.
कांग्रेस ने भी इस मसले पर सवालिया निशान लगाए और पूछा कि पश्चिम बंगाल के अंदर सात चरणों में मतदान की क्या जरूरत थी. हालांकि, कांग्रेस ने यह भी कहा कि इस मसले को बड़ा मुद्दा बनाने की जरूरत नहीं है. कांग्रेस प्रवक्ता मीम अफजल ने कहा कि रमजान में कोई भी काम करने के लिए मजहब की तरफ से पाबंदी नहीं है और लोकतंत्र को बरकरार रखने की जिम्मेदारी मुसलमान बखूबी समझता है.
वहीं, सत्ताधारी बीजेपी के प्रवक्ता शाहनवाज हुसैन ने रमजान को मुस्लिमों के लिए पाक महीना बताते हुए कहा कि मुसलमान रमजान में रोजा भी रखते हैं और काम भी करते हैं. शाहनवाज ने कहा, 'मैं खुद चुनाव के दौरान रोजा भी रखता हूं और प्रचार भी करता हूं. इसलिए सभी मुस्लिम रोजा रखते हुए लोकतंत्र के महापर्व में हिस्सा लेंगे.' उन्होंने कहा कि विपक्षी दल जिस तरह से रमजान पर सियासत कर रहे हैं वो ठीक नहीं हैं. ऐसा पहले भी कई बार हुआ है.