लोकसभा चुनाव की तारीखों के ऐलान में अब कुछ ही दिन बचे हैं. चुनाव तारीखों के ऐलान से पहले पंजाब के फिरोजपुर लोकसभा सीट की लड़ाई काफी दिलचस्प हो गई है. दरअसल, इस लोकसभा सीट पर शिरोमणि अकाली दल का दबदबा रहा है, लेकिन इस बार पार्टी के भीतर बगावत की वजह से वर्चस्व टूटता नजर आ रहा है. वहीं आम आदमी पार्टी की दखल की वजह से भी अकाली दल की मुश्किलें बढ़ सकती हैं.
फिरोजपुर जिले का इतिहास
इस जिले के इतिहास की बात करें तो भारत के स्वतंत्र होने से पहले का है. यह भारत और पाकिस्तान के बॉर्डर का सीमांत जिला है. यहां के विधानसभा क्षेत्र फाजिल्का में शहीद भगत सिंह जी, सुखदेव जी और राजगुरु के समाधी स्थल हैं. इस जिले में बाघा बॉर्डर है, जहां से भारत और पाकिस्तान के बीच लोगों का आवागमन होता है.
लोकसभा सीट पर अकाली दल का दबदबा
इस सीट पर 1998 से अकाली दल के सीनियर नेता जोरा सिंह मान 3 बार लोकसभा चुनाव जीते हैं. इसके बाद 2009 और 2014 के लोकसभा चुनाव में इस सीट पर अकाली दल के शेर सिंह घुबाया विजयी रहे. लेकिन सांसद घुबाया के पार्टी गतिविधियों और पार्टी द्वारा दूरी बनाए रखने से यह साफ हो गया था कि 2019 के लोकसभा चुनाव में पार्टी कोई नया चेहरा मैदान में उतरेगी. ऐसे में इस बात के संकेत मिल रहे हैं कि शिरोमणि अकाली दल के अध्यक्ष सुखबीर सिंह बादल फिरोजपुर लोकसभा से चुनाव लड़ सकते हैं. दरअसल, बीते 25 साल से अकाली दल के कब्जे में रही इस बार पार्टी के लिए खतरे में हैं.
क्यों बागी हो गए घुबाया
दरअसल, 2017 विधानसभा चुनाव में बेटे दविंदर सिंह घुबाया को अकाली दल से टिकट दिलाना चाहते थे लेकिन पार्टी ने नजरअंदाज किया. हालांकि सांसद घुबाया ने पार्टी नहीं छोड़ी, लेकिन दविंदर घुबाया परिवार के अन्य सदस्यों के साथ विधानसभा चुनाव से ठीक पहले कांग्रेस में शामिल हो गए थे. वहीं कांग्रेस ने दविंदर घुबाया को फाजिल्का विधानसभा सीट से अकाली दल के खिलाफ खड़ा किया, यहां उन्हें जीत मिली.
2014 में कितने वोट से जीते घुबाया
2014 लोकसभा चुनाव में शेर सिंह घुबाया ने करीबी मुकाबले में सुनील जाखड़ को हराया. शेर सिंह घुबाया को 4,87,932 वोट मिले जबकि पार्टी के कांग्रेस अध्यक्ष रहे सुनील जाखड़ को 4,56, 512 वोट मिले. यानि सुनील जाखड़ को करीब 31,420 वोट से हार मिली. इससे पहले 2009 लोकसभा में घुबाया ने जगमीत सिंह बरां को शिकस्त दी.
सांसद का रिपोर्ट कार्ड
सांसद शेर सिंह की 16वीं लोकसभा में उपस्थिति 66 फीसदी है. जबकि उन्होंने इस दौरान 42 चर्चा में हिस्सा लिया. वहीं संसद में शेर सिंह ने 208 सवाल पूछे हैं. इस दौरान घुमाया डिफेंस, सोशल जस्टिस और एंपावरमेंट स्टैंडर्ड कमिटी के सदस्य भी रहे हैं. वहीं उन्होंने 25 करोड़ के सांसद फंड का घुमाया ने 87.50 फीसदी यानि करीब 22.37 खर्च किया है.
फिरोजपुर संसदीय सीट के अंतर्गत विधानसभा की 9 सीटें हैं. तीन जिलों की नौ विधानसभाओं वाली फिरोजपुर संससदीय सीट की 3 विधानसभा एससी वर्ग के लिए आरक्षित है.
इस संसदीय क्षेत्र के अधीन आने वाली विधानसभा है.
- फिरोजपुर शहर
- फिरोजपुर देहाती
- गुरुहरसहाय
- जलालाबाद
- फाज्लिका
- अबोहर
- बल्लूआना
जरूरी आंकड़े
क्षेत्रफल : 2406.84 sq km
साक्षरता दर : 95:00%
ब्लॉक : 6
गांव : 689
जनसंख्या : 10 लाख 19 हजार