अमेठी में बीजेपी कार्यकर्ता और बरौली गांव के पूर्व प्रधान सुरेंद्र सिंह की हत्या से सनसनी फैल गई है. नवनिर्वाचित सांसद स्मृति ईरानी ने सख्त रुख दिखाया है. उन्होंने कहा कि 1977 से सुरेंद्र सिंह जमीनी कार्यकर्ता रहे हैं. यह बेहद दुखद है कि अमेठी में पार्टी की जीत की खुशी मनाने के बाद उनकी हत्या कर दी गई.
स्मृति ईरानी ने कहा, मैंने सुरेंद्र सिंह के परिवार के सामने एक शपथ ली है. जिसने उनकी हत्या की और जिसके कहने पर मारने का आदेश दिया गया, अगर मुझे उन्हें मौत की सजा दिलाने सुप्रीम कोर्ट भी जाना पड़ा तो मैं अदालत का दरवाजा जरूर खटखटाऊंगी. उन्होंने कहा, पूरा बीजेपी परिवार और पार्टी कार्यकर्ता पीड़ित परिवार के साथ है. हम चाहते हैं कि परिवार को न्याय मिले.
स्मृति ईरानी ने कहा, जिन्होंने सुरेंद्र सिंह पर गोलियां चलाईं और जिसने गोली चलाने को कहा, उन्हें फांसी की सजा होनी चाहिए. अगर जरूरत पड़ी तो हम न्याय के लिए सुप्रीम कोर्ट भी जाएंगे. अमेठी में डर पैदा करने के लिए इस घटना को अंजाम दिया गया है. उन्होंने नाम लिए बिना कांग्रेस चीफ राहुल गांधी का भी जिक्र किया. स्मृति ईरानी ने कहा कि मुझे प्यार से अमेठी की सेवा करने को कहा गया था. संदेश बहुत साफ है. मैं अमेठी के विकास के लिए काम करूंगी. अमेठी सीट गंवाने के बाद राहुल गांधी ने स्मृति ईरानी से कहा था कि वह अमेठी की जनता की प्यार से देखभाल करें.
कर्मठ जनसेवक, कुशल संघटक, निष्ठावान कार्यकर्ता - सुरेंद्र सिंह जी की दिवंगत आत्मा को प्रणाम। pic.twitter.com/jtAavn0xeF
— Smriti Z Irani (@smritiirani) May 26, 2019
#WATCH BJP MP from Amethi, Smriti Irani lends a shoulder to mortal remains of Surendra Singh, ex-village head of Barauli, Amethi, who was shot dead last night. pic.twitter.com/jQWV9s2ZwY
— ANI (@ANI) May 26, 2019
माना जा रहा कि स्मृति ने राहुल गांधी पर निशाना साधते हुए ये बात कही है, क्योंकि अमेठी में हार के बाद राहुल ने कहा था कि अमेठी को प्यार से संभालें.
स्मृति ईरानी ने सुरेंद्र सिंह की अर्थी को कंधा भी दिया. यूपी के डीजीपी ओपी सिंह ने कहा, 7 लोगों को पूछताछ के लिए हिरासत में लिया गया है. घटना से जुड़े अहम सुराग मिले हैं. अगले 12 घंटों में मौत की गुत्थी सुलझा ली जाएगी. कानून एवं व्यवस्था का मुद्दा नहीं है. पीएसी की 3 कंपनियां भी तैनात की गई हैं.
शनिवार रात सुरेंद्र सिंह अपने घर के बाहर सो रहे थे. तभी कुछ अज्ञात बदमाश आए और उन्हें गोलियों से भून दिया. उनके बेटे अभय ने हत्या के पीछे कांग्रेसी कार्यकर्ताओं के होने का शक जताया है. उन्होंने कहा, ''मेरे पिता 24 घंटे स्मृति ईरानी के लिए कैंपेन करते थे. उन्होंने ईरान की जीत के बाद विजय यात्रा भी निकाली थी. मुझे लगता है कि कांग्रेस कार्यकर्ताओं को यह बात अच्छी नहीं लगी. हमें कुछ लोगों पर शक है.''