पंजाब में कांग्रेस की जीत से कांग्रेसी कार्यकर्ता ही नहीं बल्कि आलाकमान की सांस में सांस आई है. इस जीत के बाद पार्टी के भीतर आपसी चकल्लस में 6 'A' फैक्टर खासा चर्चा का विषय बना हुआ है.
जीत का 6 'A' फैक्टर
दरअसल पंजाब चुनाव में कांग्रेस की तरफ जिन 6 लोगों की बड़ी भूमिका रही उन सबके नाम A से ही शुरू होते हैं. जिसके बाद से ये 6A फैक्टर खूब चर्चा बटोर रहा है. ये वो A से शुरू होने वाले वो 6 नेता हैं जिनके चलते बना है ये 6A फैक्टर.
अहमद पटेल- अहमद पटेल कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी के राजनीतिक सचिव हैं. तमाम ऐसे बागी उम्मीदवार जो अमरिंदर सिंह के कहने पर भी बैठने को तैयार नहीं थे, उनको व्यक्तिगत तौर पर बात करके अहमद पटेल ने कांग्रेस के पक्ष में बैठाया.
अमरिंदर सिंह- पंजाब कांग्रेस के अध्यक्ष अमरिंदर सिंह के कैप्टन के कद ने अहम भूमिका निभाई. साथ ही वो खुद महाराज की छवि से बाहर निकले.
अशोक गहलोत- अशोक गहलोत स्क्रीनिंग कमेटी के चेयरमैन हैं. उम्मीदवारों के चयन के लिए बनी समिति के मुखिया रहे. टिकट देने में अहम भूमिका निभाई.
आशा कुमारी- आशा कुमारी के पास पंजाब के प्रभारी की जिम्मेदारी है. कमलनाथ के बाद आशा कुमारी को प्रभारी बनाया गया. जिसके बाद लो प्रोफाइल रहते हुए आशा कुमारी पंजाब की गुटबाजी को रोकने में काफी हद तक सफल रहीं.
अम्बिका सोनी- अम्बिका सोनी कैंपेन कमेटी की चेयरपर्सन हैं. अम्बिका की भूमिका हालांकि सीमित रही, लेकिन उनको जो भी रोल मिला वो उन्होंने निभाया.
अजय शर्मा- अजय शर्मा हरियाणा कांग्रेस के उपाध्यक्ष हैं. इनको प्रभारी और प्रदेश के नेताओं के बीच कोऑर्डिनेटर का जिम्मा सौंपा गया. समन्वय में इन्हें कामयाबी भी मिली.
इस तरह पंजाब चुनाव में जीत के बाद अब ये 6'A' फैक्टर सामने आया है. वैसे भी जब जीत मिलती है तो तमाम नए फैक्टर उभरकर सामने आते हैं.