लुधियाना शहर में पड़ने वाली साउथ सीट से लोक इंसाफ पार्टी के बलविंदर सिंह बैंस लगातार दो बार बाजी मार चुके हैं. 2012 में भी वह यहां से जीते थे और 2017 में भी उन्होंने ही जीत हासिल की.
2017 के पंजाब विधानसभा चुनावों में बलविंदर सिंह बैंस ने 53955 वोट, कांग्रेस के भूपेंद्र सिंह ने 23038 और अकाली भाजपा गठबंधन के हीरा सिंह गाबड़िया ने 20554 मत हासिल किए थे. इस क्षेत्र में बलविंदर सिंह बैंस का पूरा दबदबा रहा है. उनके छोटे भाई सिमरजीत सिंह बैंस भी आतम नगर क्षेत्र से लगातार दो बार विधायक बन चुके हैं और दोनों भाई पिछले 10 वर्षों से दोनों क्षेत्रों में अपना दबदबा बनाए हुए हैं.
लेकिन इस बार यहां भी समीकरण बदल सकते हैं क्योंकि अदालत के एक फैसले ने सारी बाजी का रुख पलट दिया है. लुधियाना की स्थानीय अदालत ने एक पीड़ित महिला के द्वारा दायर की गई याचिका के आधार पर सिमरजीत सिंह बैंस पर रेप का पर्चा दर्ज करने के आदेश दिए हैं और उन आदेशों के आधार पर थाना डिवीजन नंबर छह में सिमरजीत सिंह बैंस और छह अन्य लोगों के खिलाफ मामला दर्ज हो चुका है.
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इस केस के चलते दोनों भाइयों के राजनीतिक भविष्य पर हार का साया मंडराने लगा है और विरोधी पार्टियों को अपनी जीत दिखाई देने लगी है. इस क्षेत्र में नशा और विकास मेन मुद्दा है. वहीं विकास के नाम पर मौजूदा विधायक बलविंदर सिंह बैंस कुछ ज्यादा नहीं कर पाए हैं. इसी बात का फायदा विरोधी दल उठाने की फिराक में दिखाई दे रहे हैं. 62 वर्षीय बलविंदर बैंस की एक ही बेटी है और उनके छोटे भाई सिरजित बैंस भी विधायक हैं. बलविंदर बैंस शिरोमणि गुरद्वारा प्रंबंधक कमेटी के भी सदस्य रहे हैं.