बिहार विधानसभा के तीसरे चरण के तहत 48 सीटों पर आगामी 28 अक्तूबर को होने वाले मतदान के लिए चुनाव प्रचार मंगलवार को शाम थम गया. इस चरण में छह जिलों पूर्वी चंपारण, पश्चिमी चंपारण, सीवान, गोपालगंज, सारण और वैशाली की 48 सीटों के लिए कुल 787 उम्मीदवार चुनावी मैदान में डटे हुए हैं.
तीसरे चरण में भी वैसे तो प्रमुख मुकाबला सत्तारूढ़ राजग, राजद-लोजपा गठबंधन तथा कांग्रेस के बीच है, लेकिन वाममोर्चा के भाकपा, माकपा और भाकपा-माले और बसपा ने अपने प्रत्याशियों को मैदान में उतार कर चुनावी मुकाबले को बहुकोणीय बनाने की कोशिश की है.
कांग्रेस और बसपा ने सभी 48 सीटों पर अपने उम्मीदवार खडे किए हैं. वहीं राजद 35 पर, लोजपा 13 स्थानों पर और सत्तारुढ़ जदयू और सहयोगी भाजपा ने 24-24 स्थानों से अपने चुनावी मैदान में उतारे हैं. वहीं, वाम मोर्चे में भाकपा ने 10, माकपा ने पांच और भाकपा माले लिबरेशन ने 16 सीटों पर अपने प्रत्याशी खड़े किये हैं. {mospagebreak}
इस चरण में पूर्व मुख्यमंत्री और राजद प्रत्याशी राबड़ी प्रमुख उम्मीदवार हैं, जो दो विधानसभा क्षेत्रों सारण जिले के सोनपुर तथा वैशाली के राघोपुर से किस्मत आजमा रही हैं. वहीं अन्य उम्मीदवारों में राज्य के मंत्री वृषिण पटेल (वैशाली), व्यासदेव पासवान (सीवान), पूर्व मंत्री चंद्रमोहन राय (चेनपटिया), भाजपा प्रत्याशी और राज्य सरकार की मंत्री रेणु देवी (बेतिया), निवर्तमान विधायक नित्यानंद राय (हाजीपुर), अजय सिंह (रक्सौल), जनार्दन सिगरीवाल (छपरा), लोजपा के निवर्तमान विधायक रामाकिशोर सिंह (महनार) प्रमुख हैं.
तीसरे चरण के चुनाव में राजद और लोजपा गठबंधन की कड़ी परीक्षा है. विशेषकर वैशाली और सारण जिले में राजग गठबंधन चंपारण और गंगा के उपरी मैदानी क्षेत्र में अपना जनाधार बढ़ाने का प्रयास करेगा. वैशाली क्षेत्र लोजपा सुप्रीमो रामविलास पासवान का गढ़ माना जाता है, जबकि सारण का इलाका उनके समकक्ष और राजद के प्रमुख लालू प्रसाद का गढ़ है.
पिछले आंकड़ों पर अगर नजर दौडाया जाए तो वैशाली और सारण क्षेत्र में राजद ने फरवरी तथा अक्तूबर 2005 दोनों चुनावों के दौरान 11 सीटों का आंकड़ा बनाये रखा. वहीं, लोजपा ने फरवरी में छह सीटें जीती लेकिन अक्तूबर के चुनाव में उसका नुकसान हुआ और चार सीटों से ही संतोष करना पड़ा. फरवरी 2005 के विधानसभा चुनावों में जदयू को पांच सीटें हासिल हुई थी लेकिन अक्तूबर में सुधार करते हुए उसने इसे 11 कर लिया. {mospagebreak}
सीवान में राजग को जहां बाहुबली नेता मोहम्मद शहाबुद्दीन विरोधी लहर का फायदा मिला. वहीं गठबंधन ने सारण क्षेत्र में अच्छा प्रदर्शन किया था. भाजपा के वरिष्ठ नेता अरुण जेटली और बिहार मामलों के पार्टी के प्रभारी अनंत कुमार के अलावा इस चरण में पूर्व उप प्रधानमंत्री लालकृष्ण आडवाणी, पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतिन गडकरी, पूर्व अध्यक्ष राजनाथ सिंह ने अपने प्रत्याशियों के पक्ष में धुआंधार चुनाव प्रचार किया.
लाल कृष्ण आडवाणी ने अपनी चुनावी सभाओं में जनता से अपील की है कि वे बिहार की वर्तमान राजग सरकार को उसके विकास कार्यो के लिए पुरस्कृत करें ताकि नीतीश सरकार की प्रदेश में वापसी हो. विकास के मुद्दे पर उन्होंने कांग्रेस, राजद और लोजपा के नेताओं को खुली बहस की चुनौती दी.
दूसरी तरफ इस चरण में भी जदयू की ओर से स्टार प्रचारक के तौर पर बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार और पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष शरद यादव ने अपनी पार्टी के उम्मीदवारों के साथ भाजपा प्रत्याशियों के समर्थन में भी चुनाव प्रचार किया. कांग्रेस को उम्मीद है कि इस बार चुनाव में पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव राहुल गांधी की युवा शक्ति का जादू चलेगा. {mospagebreak}
कांग्रेस महासचिव राहुल, पार्टी के बिहार मामलों के प्रभारी मुकुल वासनिक और केंद्रीय मंत्री सलमान खुर्शीद ने इस चरण में विकास और केंद्रीय सहायता के मुद्दे पर वर्तमान राजग सरकार को घेरने की कोशिश की. वहीं, राहुल गांधी ने नीतीश कुमार को बिहार के विकास में कथित विफलता के लिए आड़े हाथ लिया और कहा कि बिहार में राजग का सफाया हो जाएगा. राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद और लोजपा प्रमुख रामविलास पासवान ने बिहार में राजग सरकार की सभी मोर्चों पर कथित विफलता का आरोप लगाते हुए गठबंधन के प्रत्याशियों के समर्थन में वोट मांगा.
तीसरे चरण के चुनाव प्रचार अभियान में नीतीश कुमार पांच वर्षों के कार्यकाल में अपनी उपलब्धियों को गिनाते रहे और एक बार फिर से सरकार बनाने का अवसर मांगा. तीसरे चरण की 48 विधानसभा सीटों में से रामनगर, राघोपुर, वाल्मिकीनगर और पातेपुर को नक्सल प्रभावित घोषित किया गया है और यहां सुबह सात बजे से शाम तीन बजे तक ही वोट पड़ेंगे.