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नीतीश की मौजूदगी में जनता ने उतारा जनप्रतिनिधियों के खिलाफ गुस्सा

पश्चिमी चंपारण जिले में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की दो अलग-अलग चुनावी सभाओं में उनकी मौजूदगी में ही स्थानीय लोगों ने जदयू के अपने जनप्रतिनिधियों के खिलाफ गुस्सा उतारा.

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बिहार के पश्चिमी चंपारण जिले में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की दो अलग-अलग चुनावी सभाओं में उनकी मौजूदगी में ही स्थानीय लोगों ने जदयू के अपने जनप्रतिनिधियों के खिलाफ शुक्रवार को गुस्सा उतारा.

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जिले के लौरिया विधानसभा क्षेत्र में नीतीश की चुनावी सभा में एक नाराज व्यक्ति ने जदयू प्रत्याशी को निशाना बनाकर चप्पल फेंकी. वहीं, बगहा में एक कार्यक्रम के दौरान लोगों ने वाल्मिकीनगर लोकसभा क्षेत्र से सदस्य वैद्यनाथ महतो के खिलाफ नारेबाजी की.

लौरिया विधानसभा क्षेत्र में कुमार की चुनावी सभा में बाढ़ राहत कार्य में उपेक्षा से क्षुब्ध एक व्यक्ति ने निवर्तमान विधायक और जदयू प्रत्याशी प्रदीप सिंह की ओर चप्पल फेंकी तथा हंगामा किया.

सूत्रों ने बताया कि जिले के योगापट्टी में हुई चुनावी सभा के दौरान बाढ़ के कारण हुई क्षति के बाद मुआवजा, पुनर्वास और राहत कार्य को लेकर कुछ लोग लौरिया के निवर्तमान विधायक और जदयू प्रत्याशी सिंह से नाराज थे. नीतीश ने जैसे ही अपना भाषण समाप्त कर लोगों के सामने सिंह का अभिनंदन करने की घोषणा की. {mospagebreak}

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एक नाराज व्यक्ति ने विरोध जताते हुए प्रत्याशी की ओर चप्पल फेंक दिया. हालांकि, चप्पल किसी को नहीं लगा. बाद में नीतीश ने जनता के बीच जाकर हंगामा कर रहे कुछ लोगों को शांत कराया और कहा कि जो शिकवा शिकायत हो हमसे कहिए. इसके बाद वह हेलीकाप्टर से रवाना हो गये. वहीं, बगहा में नीतीश के भाषण के बाद जब स्थानीय सांसद वैद्यनाथ महतो संबोधन के लिए उठे तो लोगों ने उनके खिलाफ नारेबाजी की और वापस जाने को कहा.

लोगों की नाराजगी थी कि महतो जनता की समस्याओं को हल नहीं करते और अपने क्षेत्र पर ध्यान नहीं देते. सूत्रों ने बताया कि बगहा से प्रभात रंजन को जदयू का टिकट दिलाने में प्रमुख भूमिका के कारण भी कुछ लोग महतो से नाराज चल रहे थे. रंजन पिछले वर्ष ही जदयू में शामिल हुए थे, जबकि पुराने कार्यकर्ता भीष्म सहनी प्रत्याशी न बनाये जाने पर नाराज होकर जनवादी सोशलिस्ट पार्टी के टिकट पर इस विधानसभा क्षेत्र से चुनाव लड़ रहे हैं. नारेबाजी कर रहे लोगों ने महतो को सभा में बोलने नहीं दिया.

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