दिल्ली विधानसभा चुनाव के तहत मंगलवार को नौ जिलों के 14 केंद्रों पर मतगणना सुबह 8 बजे से वोटों की गिनती शुरू हो चुकी है. पहला रुझान बीजेपी के पक्ष में आया है. जबकि आम आदमी पार्टी भी एक सीट पर आगे चल रही है. शुरुआत पोस्टल बैलेट की गिनती से की गई है. रोहिणी से बीजेपी उम्मीदवार बिजेंद्र गुप्ता आगे चल रहे हैं, वहीं मंगोलपुरी से AAP की राखी बिड़लान आगे चल रही हैं.
मतगणना के लिए व्यापक सुरक्षा इंतजाम किए गए हैं. 70 सदस्यीय विधानसभा के लिए 673 उम्मीदवार मैदान में हैं और अब मतगणना के साथ ही उनकी किस्मत का फैसला हो जाएगा. मतगणना की वीडियोग्राफी भी कराई जाएगी. पार्टी कार्यकर्ताओं को मतगणना के समय केंद्र में जाने की अनुमति होगी.
इस बीच दिल्ली इलेक्शन कमिश्नर हरि शंकर ब्रम्हा ने कहा है कि सुबह 11:30 बजे तक चुनाव के नतीजे सामने होंगे. यानी मतगणना शुरू होते ही तीन घंटों के भीतर दिल्ली की सियासी तस्वीर साफ हो जाएगी. दिल्ली विधानसभा के लिए 7 फरवरी 2015 यानी शनिवार को हुए मतदान के बाद नौ जिलों में स्ट्रॉन्ग रूम में रखे गए 20 हजार इलेक्ट्रॉनिक वोटिंग मशीनों (ईवीएम) की तीन स्तरीय सुरक्षा व्यवस्था की गई है. इसमें अर्धसैनिक बल सहित 10 हजार सुरक्षाकर्मियों को तैनात किया गया है. सभी स्ट्रॉन्ग रूम की सुरक्षा में केंद्रीय औद्योगिक सुरक्षा बल (सीआईएसएफ) के जवानों, सशस्त्र पुलिस और स्थानीय पुलिस को तैनात किया गया है.
एग्जिट पोल में AAP आगे
दिल्ली विधानसभा के लिए शनिवार को हुए मतदान में 67.14 फीसदी लोगों ने अपने मताधिकार का प्रयोग किया. मतदान खत्म होने के बाद आए एग्जिट पोल में आम आदमी पार्टी को 31 से लेकर 53 सीटें तक मिलने का अनुमान जाहिर किया गया है. सर्वे के मुताबिक, बीजेपी को 17-35 सीटें मिल सकती हैं. कांग्रेस का इस चुनाव में लगभग सफाया हो सकता है. दिल्ली पर 15 वर्षों तक शासन कर चुकी कांग्रेस की स्थिति इस चुनाव में बहुत बुरी दिख रही है और एक्जिट पोल परिणामों में या तो उसे एक भी सीट नहीं दी गई है या फिर बमुश्किल चार सीटें दी गई हैं.
बहुमत के लिए जरूरत
किसी भी पार्टी को सरकार बनाने के लिए 70 सदस्यीय विधानसभा में कम से कम 36 सीटों की जरूरत होगी. एक को छोड़ शेष चार मतदान बाद के सर्वेक्षणों में 70 सदस्यीय दिल्ली विधानसभा में आम आदमी पार्टी को बहुमत हासिल होने का अनुमान जाहिर किया गया है. विधानसभा का यह चुनाव अत्यंत कड़ा मुकाबला साबित हुआ. यह चुनाव 'आप' संयोजक अरविंद केजरीवाल और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के बीच सीधी लड़ाई बन गई. जबकि बीजेपी की तरफ से मुख्यमंत्री चेहरा किरण बेदी रहीं. कांग्रेस अजय माकन के नेतृत्व में चुनाव मैदान में उतरी.