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राज्‍यसभा में सौ से ज्‍यादा करोड़पति

राज्‍यसभा में कई समृद्ध सदस्य हैं. जिन 215 सदस्यों ने अपनी संपत्ति की घोषणा की है, उनमें 105 के पास 1 करोड़ रु. से अधिक की संपत्ति है.

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राज्‍यों के सदन, जिसमें कारोबारी जगत से जुड़े काफी लोग हैं, में कई समृद्ध सदस्य हैं. जिन 215 सदस्यों ने अपनी संपत्ति की घोषणा की है उनमें 105 के पास 1 करोड़ रु. से अधिक की संपत्ति है

1 टी. सुब्बरामी रेड्डी
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस
आंध्र प्रदेश
कुल संपत्ति 239.6 करोड़ रु.

लोगों को जोड़ने की उनमें असाधारण क्षमता है और उनकी हैदराबाद, मुंबई और दिल्ली में चलने वाली पार्टियां राजनैतिक चर्चाओं के लिए मसाला तैयार करती हैं. हर पार्टी में वे जीवन के हर क्षेत्र में काम कर रहे लोगों को जोड़कर अपना दायरा विस्तृत करते जाते हैं. नतीजाः एक विनम्र ठेकेदार जिसने आंध्र प्रदेश के नार्गाजुन सागर पर दुनिया का सबसे बड़ा पत्थर का बांध बनाया, चार दशक से कम समय के भीतर कुर्ता-कोटी पहने एक सक्रिय सांसद के रूप में तब्दील हो गया जिसका कांग्रेस के भीतर और बाहर के सभी गुटों में स्वागत होता है. हैदराबाद के नि.जाम कॉलेज के इस कॉमर्स ग्रेजुएट ने नौकरियां देने के मकसद से अपने गायत्री समूह के जरिए देश भर में अवसंरचना, इस्पात, खनन और बिजली के कारोबार में निवेश किया और बदले में उनकी साख मजबूत हुई.

फिल्म प्रोड्यूसर और प्रदर्शक के रूप में उनकी कारोबारी रुचियों और प्रभावी कौशल से बॉलीवुड और तेलुगु फिल्म उद्योग की कई हस्तियां कांग्रेस के करीब आईं. विशाखापट्टनम से वे दो बार-1996 और 1998 में-लोकसभा के लिए चुने गए. इस समय वे राज्‍यसभा के सदस्य हैं और उन्हें शहर में ढेर सारी सामुदायिक परियोजनाएं शुरू करने का श्रेय जाता है. उनके समाज कार्य को मान्यता देते हुए मंगलूर विश्वविद्यालय ने उनको डॉक्टरेट की उपाधि दी. उनकी एक खास उपलब्धि है कि वे दो बार तिरुमाला तिरुपति देवास्थनम (टीटीडी) के अध्यक्ष रहे और उन्होंने तीर्थयात्रियों के लिए लाभकारी कई कार्यक्रम शुरू किए. उन्होंने अपने समृद्ध और प्रसिद्ध दोस्तों को प्रोत्साहित किया कि वे पहाड़ी पर स्थित इस तीर्थस्थल पर प्रार्थना के लिए समय निकालें. उनके बाद उनकी पत्नी इंदिरा टीटीडी बोर्ड में हैं.

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2 जया बच्चन
समाजवादी पार्टी
उत्तर प्रदेश
कुल संपत्ति 214.3 करोड़ रु.

बच्चन परिवार की अमीरी का रहस्य उतना ही सार्वजनिक है जितना एक साधारण सिनेमाप्रेमी कल्पना कर सकता है. भारतीय सिनेमा का पहला परिवार-बच्चन परिवार, जो किसी समय नेहरू-गांधी परिवार का करीबी हुआ करता था, इस समय मुख्यतः उत्तर प्रदेश में राजनैतिक दांव रखने वाली मुलायम सिंह यादव की समाजवादी पार्टी के करीब है. सिने जगत के अपने कुछ साथियों के विपरीत जया बच्चन समाजवादी पार्टी के लिए महज एक फिल्मी हस्ती से अधिक महत्व रखती हैं.

उनके पति जिस प्रदेश-उत्तर प्रदेश-से ताल्लुक रखते हैं, उसके अंदरूनी इलाकों में आयोजित पार्टी सम्मेलनों में वे सक्रियता से हिस्सा लेती हैं और सार्वजनिक सभाओं को संबोधित करती हैं. जया को लाभ का पद-जो कि उत्तर प्रदेश फिल्म विकास परिषद का अध्यक्ष पद था-धारण करने के आधार पर राज्‍यसभा की सदस्यता के लिए अयोग्य घोषित करने का ही वह मामला था जिसके असर से कांग्रेस अध्यह्ना सोनिया गांधी को 2005 में लोकसभा सदस्यता से इस्तीफा देना पड़ा. कुछ महीने बाद ये दोनों नेत्रियां उप-चुनाव जीतकर संसद में वापस आ गईं. और आज विडंबना यह है कि बच्चन और गांधी परिवार वैचारिक विभाजन के उसी तरफ खड़े हैं जो आज की भारतीय राजनीति में हावी है.

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{mospagebreak}3  राहुल बजाज
निर्दलीय
महाराष्ट्र
कुल संपत्ति 190.6 करोड़ रु.

4 अनिल एच. लाड 
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस
कर्नाटक
कुल संपत्ति 175 करोड़ रु.

एमएएम रामस्वामी
जनता दल (सेकुलर)
कर्नाटक
कुल संपत्ति 107.7 करोड़ रु.

6 महेंद्र मोहन
समाजवादी पार्टी
उत्तर प्रदेश
कुल संपत्ति 85 करोड़ रु.

अब्दुल वहाब पीवी
मुस्लिम लीग
केरल
कुल संपत्ति 60 करोड़ रु.
 
8 कर्ण सिंह
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस
दिल्ली
कुल संपत्ति 53 करोड़ रु.
 
प्रफुल्ल पटेल
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी
महाराष्ट्र
कुल संपत्ति 51 करोड़ रु.

10 अभिषेक मनु सिंघवी
भारतीय राष्ट्रीय कांग्रेस
कुल संपत्ति
कुल संपत्ति 50.3 करोड़ रु.

रैंकिंग सूचनात्मक है और चुनाव आयोग के समक्ष की गई घोषणा पर आधारित है.
कुल संपत्तिः सांसद और परिवार की संपत्तियां, हिंदू संयुक्त परिवार सहित
स्त्रोतः एंपॉवरिंग इंडिया, लिबर्टी इंस्टीट्यूट

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