मध्य प्रदेश में चुनाव से पहले ही सारे नेता अपस में भिड़ गये हैं. कांग्रेस महासचिव दिग्विजय सिंह ने अपने बेटे जयवर्धन के लिए टिकट पक्की कर ली है लेकिन बाकी सांसदों के रिश्तेदारों के लिए खींचतान चल रही है.
सोनिया गांधी के घर पर मंगलवार की शाम कांग्रेस केंद्रीय चुनाव समिति की बैठक हुई जिसमें सबसे जयादा खींचतान नेताओं के रिश्तेदारों को टिकट देने पर हुई. हालांकि चुनाव समिति में नेताओं के रिश्तेदारों पर कोई फैसला न हो सका लेकिन ये जरूर तय हुआ कि जो सांसद है उनको या उनके रिश्तेदारों को टिकट नहीं दिया जायेगा इससे कई सांसद नाराज हो गये हैं.
जो सांसद नाराज हैं उनमें सज्जन वर्मा, प्रेमचंद गुड्डू, विजयलक्ष्मी साधो, सत्यव्रत चतुर्वेदी, अरुण यादव, गजेंद्र सिंह राजूखेड़ और राव इंद्र प्रताप सिंह शामिल हैं.
इन सबमें अगर बाजी मारी तो दिग्विजय सिंह ने जो राघोगढ़ से अपने बेटे जयवर्धन को टिकट दिलाने में कामयाब हो गये. उन्होंने तो टिकट मिलने से पहले अपने बेटे का फॉर्म भी भरवा लिया. दिग्विजय ने तर्क ये दिया कि न तो वो सांसद हैं और न मंत्री.