साबिर अली मामले में अपना हाथ जला चुकी बीजेपी जिस मौके की तलाश में थी वो नीतीश सरकार में पहले मत्री रहे जमशेद अशरफ के पार्टी में शामिल होने से पूरा हो गया. सोमवार शाम पार्टी के पटना दफ्तर में जमशेद अशरफ ने बीजेपी की सदस्यता ले ली.
जमशेद अशरफ ने 2009 में नीतीश सरकार से आबकारी विभाग में भ्रष्टाचार के खिलाफ मोर्चा खोलते हुए मंत्रिमंडल और पार्टी दोनो से इस्तीफा दे दिया था और बाद में कांग्रेस में शामिल हो गए. लेकिन अब वह बीजेपी का हिस्सा बन गए हैं. उनके आने से पार्टी को दिखाने के लिए एक बड़ा नाम मिल गया है.
बेगुसराय इलाके में जमशेद अशरफ की मुसलमानों में अच्छी खासी पैठ मानी जाती है. ऐसे में जब मोदी के नाम पर मुसलमानों को गोलबंद करने को कोशिश हो रही है बीजेपी के लिए ये बड़ा कैच है.
बीजेपी ज्वाइन करते ही जमशेद अशरफ ने कहा कि बीजेपी, नीतीश कुमार से कहीं ज्यादा सेकुलर है और नीतीश ने बीजेपी को प्रधानमंत्री बनने के लिए छोड़ा जो की ढोंग निकला. जमशेद अशरफ के मुताबिक उन्होंने तमाम टिकट बंटने के बाद पार्टी ज्वाइन की ताकि उनपर अवसरवादी होने का आरोप ना लगे.