जम्मू कश्मीर के मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने साफतौर पर कहा कि नेशनल कॉंफ्रेंस कभी एनडीए में शामिल नहीं होगी और प्रधानमंत्री पद के बीजेपी के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी 2002 के गुजरात दंगों के लिए जिम्मेदार थे जिसके लिए ना तो उन्होंने कभी माफी मांगी और ना ही जिम्मेदारी ली.
‘गूगल हैंगआउट’ पर एक परिचर्चा में शामिल हुए उमर ने आगामी लोकसभा चुनाव, सशस्त्र बल विशेषाधिकार कानून, कश्मीर के मुद्दे पर हुर्रियत कॉंफ्रेंस की भूमिका, अफजल गुरु और कांग्रेस की संभावनाओं समेत अनेक मुद्दों पर अपनी बात रखी.
उमर ने कहा कि उन्होंने 2002 के गुजरात दंगों के बाद अपना इस्तीफा सौंप दिया था जिसे तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी ने मंजूर नहीं किया था.
उमर ने सवालों का जवाब देते हुए कहा, ‘मैंने वाजपेयी को अपना इस्तीफा भेजा था. मैंने उस समय सरकार के लिए वोट देने से मना कर दिया था. संसद में एक प्रस्ताव था जिसके लिए एनडीए का एक साथ मतदान करना जरूरी था लेकिन मैंने मना कर दिया और इसमें शामिल नहीं हुआ.’
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘मेरा इस्तीफा कबूल नहीं किया गया और मैंने दबाव भी नहीं डाला, हो सकता है कि यह मेरी मूखर्ता हो. मुझे नहीं लगता कि दंगों के लिए वाजपेयी जिम्मेदार थे. मुझे लगता है कि मोदी जिम्मेदार थे. अपने इस्तीफे के लिए दबाव बनाकर मैं इन दंगों के लिए वाजपेयी को जिम्मेदार बनाता, जो मुझे नहीं लगता था.’
उस समय वाजपेयी सरकार में विदेश राज्यमंत्री रहे उमर ने यह भी कहा कि वाजपेयी मोदी को और अधिक जवाबदेह ठहरा सकते थे.