लोकसभा चुनाव के आखिरी दौर में हाईप्रोफाइल वाराणसी सीट पर मतदान के दिन 20 हजार जवानों की निगहबानी में वोट डाले जाएंगे. सूत्रों के मुताबिक चुनाव आयोग ने केंद्रीय सुरक्षा बल और राज्य सुरक्षा बल के लगभग 20 हजार जवानों को वाराणसी संसदीय सीट के चप्पे चप्पे पर तैनात करने का फैसला किया है. बीजेपी के पीएम पद के उम्मीदवार नरेंद्र मोदी, आम आदमी पार्टी के उम्मीदवार अरविंद केजरीवाल और कांग्रेस के अजय राय काशी के कुरूक्षेत्र में आमने सामने हैं.
इतनी बड़ी संख्या में अर्धसैनिक बल के जवानों को केवल छत्तीसगढ़ के नक्सल प्रभावित संसदीय क्षेत्र बस्तर में तैनात किया गया था. हालांकि इनकी संख्या 25 हजार से ज्यादा नहीं थी. चुनाव आयोग के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक वाराणसी के सभी पोलिंग बूथों पर चुनाव का सौ प्रतिशत कवरेज होगा. सोमवार को जारी किए गए निर्देश के मुताबिक आयोग ने अधिकारियों को रिप्रजेंटेशन ऑफ पीपुल एक्ट 131 के तहत अपने अधिकार का इस्तेमाल का निर्देश दिया है. साथ ही अधिकारियों को केंद्रीय सुरक्षा बलों की मदद लेने का निर्देश है ताकि किसी भी घटना को रोका जा सके.
डिप्टी इलेक्शन कमिश्नर विनोद जुत्शी ने इस बात की पुष्टि की है कि वाराणसी में सुरक्षा बल बड़ी संख्या में तैनात किए जाएंगे. जवानों की एक बड़ी संख्या पहले ही वाराणसी भेजी गई है ताकि वे क्षेत्र को कब्जे में ले सकें. उन्होंने कहा कि यूपी में पांचवें चरण के चुनाव के बाद जवानों की संख्या बढ़ाई गई.
इसके अलावा चुनाव आयोग ने जिला निर्वाचन अधिकारियों को यह निर्देश दिया है कि 12 मई को सभी पोलिंग बूथों पर वीडियोग्राफी सुनिश्चित की जाए. हाईप्रोफाइल और संवेदनशील वाराणसी सीट के सभी पोलिंग बूथों पर वीडियोग्राफी, सीसीटीवी कवरेज और वेबकास्टिंग की जाएगी. आयोग का निर्देश है कि चुनाव का कवरेज एक से ज्यादा माध्यमों से की जाए. गौरतलब है कि डिप्टी इलेक्शन कमिश्नर ने मंगलवार को चुनाव की तैयारियों का जायजा लिया था.
आयोग के ताजा निर्देश के मुताबिक किसी भी दुर्घटना या अनहोनी के होने पर जवाबी कार्रवाई तीस मिनट के भीतर शुरू हो जानी चाहिए.