यूपी के ताज की आस में शुक्रवार को राहुल गांधी और अखिलेश यादव ताज की नगरी में ताल ठोकते नजर आए. साझा रोड शो के लिए आगरा जाते वक्त आजतक के वरिष्ठ संवाददाता राजदीप सरदेसाई के साथ अखिलेश यादव ने एक्सक्लूसिव बातचीत की. बातचीत में यूपी के सीएम ने कांग्रेस के साथ गठबंधन से लेकर परिवार के झगड़े तक तमाम तीखे सवालों का सामना किया.
'देश और प्रदेश को दिखाएंगे नई राह'
यूपी के सीएम का कहना था कि राहुल गांधी नई पीढ़ी के नेता हैं और वो उनके साथ देश और प्रदेश को आगे ले जाने के लिए जुड़े हैं. हालांकि क्या 2019 के चुनाव में भी ये साथ बरकरार रहेगा, इस सवाल को वो सफाई से टाल गए. ये याद दिलाने पर कि कुछ वक्त पहले तक राहुल गांधी समाजवादी पार्टी की आलोचना के निशाने पर रहा करते थे, अखिलेश यादव ने कहा कि किसी नेता की अहमियत जनता तय करती है.
गठबंधन के लिए दिखाया 'बड़ा दिल'!
मुख्यमंत्री ने इन कयासों का भी खंडन किया कि प्रियंका गांधी ने गठबंधन को अमली जामा पहनाने में अहम भूमिका निभाई है. उनका दावा था कि गठबंधन पर आखिरी फैसला दोनों पार्टियों के सीनियर नेताओं ने मिलकर लिया है. अखिलेश ने माना कि यूपी की सियासी जमीन पर कांग्रेस कमजोर है लेकिन उनकी पार्टी ने फिर भी बड़ा दिल दिखाकर 105 सीटें छोड़ी हैं. उन्होंने बताया कि अमेठी-रायबरेली की विधानसभा सीटों के बंटवारे पर दोनों पार्टियों ने सुलह का रास्ता निकाल लिया है.
मुलायम ही रहेंगे पार्टी के 'नेताजी'!
अखिलेश यादव इस बातचीत के दौरान कुनबे की कलह पर भी बोले. उन्होंने परिवार के साथ बगावत के आरोप को खारिज किया. हालांकि वो ये जोड़ना नहीं भूले कि उन्हें कुछ अहम मसलों पर स्टैंड लेने के लिए मजबूर होना पड़ा. सीएम ने जोर देकर कहा कि समाजवादी पार्टी की सरकार बनने पर सबसे ज्यादा सम्मान मुलायम सिंह यादव का ही होगा. उन्होंने मुलायम सिंह यादव के प्रचार के मैदान में उतरने का सीधा जवाब नहीं दिया. लेकिन ये उम्मीद जताई कि मुलायम सिंह यादव पार्टी की मदद करने से पीछे नहीं हटेंगे. अखिलेश का कहना था कि उनकी पार्टी चुनाव के बाद भी एक रहेगी.
'कहां है परिवारवाद?'
अखिलेश यादव की राय में उनके परिवार के सभी लोग समाजवादी हैं. लिहाजा अगर लोग उन्हें चुनकर भेजते हैं तो इसे परिवारवाद कहना गलत होगा. अखिलेश के मुताबिक अब वो पारिवारिक झगड़े को आगे नहीं बढ़ाना चाहते और उनका फोकस सिर्फ चुनाव जीतने पर है.
'दागी उम्मीदवारों पर अदालत करेगी फैसला'
मुख्यमंत्री का कहना था कि दागी उम्मीदवारों पर आखिरी फैसला कोर्ट को करना है. लेकिन उनकी पार्टी ने हर तबके के लोगों को मौका देने की कोशिश की है.