गोविंदा का परिवार इस समय मुश्किलों में फंस गया है. दरअसल, एक्टर का नाम 1000 करोड़ के पैन इंडिया ऑनलाइन पॉन्जी स्कैम में आया है. कहा जा रहा है कि गोविंदा से 'द ओडिशा इकोनॉमिक ऑफेंसिस विंग' पूछताछ करेगी. गोविंदा के पास नोटिस भेजा गया है, जहां उनसे कुछ सवाल किए जाएंगे. उन्हें समय पर हाजिर होना होगा. अथॉरिटीज का कहना है कि गोविंदा ने Solar Techno Alliance कंपनी को अपने कुछ वीडियोज में एंडॉर्स किया है. इनपर कुछ प्रमोशनल वीडियोज बनाए हैं.
गोविंदा का सामने आया नाम
DSP EOW, शाश्मिता साहू ने इस केस पर डिटेल्स शेयर की हैं. उन्होंने कहा है कि हाई कोर्ट से मिली जानकारी के बाद हमने एसटीए के खिलाफ जांच शुरू कर दी है. एसटीए ने खुद का टोकन लॉन्च किया है, जिसे एसटीए टोकन नाम दिया गया है. इसे 'भद्रक' पॉन्जी स्कीम या मल्टी-लेवल मार्केटिंग के रूप में प्रमोट किया जा रहा है. इसमें स्कीम के तहत लोगों को जोड़कर एसटीए में शामिल होने के लिए कहा जाता है. इसके अंतरगत एक चेन सिस्टम चलता है, जिसमें लोग एक के बाद एक जुड़ते हैं और उन्हें रिटर्न्स मिलते रहते हैं. शुरुआती जांच ईओडब्ल्यू भुवनेश्वर ने की है. और इसमें आरोप साबित भी हुए हैं.
'भद्रक' के निरोध कुमार दास, एसटीए के ओडिशा प्रमुख हैं. इन्होंने अपना खुद का ऑफिस बनाया है, जिसमें 5-6 हजार लोग जुड़े हैं. निरोध, एसटीए का हिस्सा बनने के लिए लोगों को प्रेरित कर रहे हैं. मीटिंग्स करते हैं और अपने अंडर लोगों को जोड़ भी रहे हैं. कंपनी के प्रमुख, गुरतेज सिंह सिद्धू और निरोध दास को 7 अगस्त को गिरफ्तार किया गया था. रत्नाकर पलाई, एसटीए के एक महत्वपूर्ण और अप-लाइन सदस्य हैं, जिनके नीचे बड़ी संख्या में सदस्य जुड़े हुए हैं. इन्हें 16 अगस्त को पकड़ा गया था.
उन्होंने आगे कहा कि The Bureau Of Immigration ने एक लुकआउट जारी किया है, जिसमें डेविड जेज का नाम है. वह 32 साल के हैं. डेविड, हंगरी के नागरिक हैं. ईओडब्ल्यू को स्कैम में एक दूसरे विदेशी का भी नाम पता लगा है. वह डच नैशनल हैं. सोशल मीडिया पर इंवेस्टर्स को लालच दिया गया और उन्हें क्रिप्टोकरेंसी में इंवेस्ट करने के लिए प्रेरित किया गया, जिससे वह अपने अंडर और भी लोगों को जोड़ सकें. हमने संबंधित मामले में ओडिशा से निरोध कुमार दास और रघुनाथ पालेई को गिरफ्तार किया है.
सूत्रों ने बताया कि कंपनी ने लोगों को लालच दिया और नेटवर्क बनाने के लिए कहा. जांच के दौरान पता चला कि कंपनी ने एक मेगा इवेंट किया था, जिसमें बॉलीवुड स्टार गोविंदा को चीफ गेस्ट बनाकर बुलाया गया था. यह 30 जुलाई 2023 में हुआ था. ईओडब्ल्यू की एक टीम गोवा के लिए रवाना हुई, जहां कार्यक्रम हुआ. जब टीम ने कॉन्टैक्ट करने की कोशिश की तो पता लगा कि यह एसटीएस से जुड़े हुए हैं. क्योंकि गोविंदा इवेंट में चीफ गेस्ट बनकर गए थे तो हमें उनका भी स्टेटमेंट इसमें लेना है. इस इवेंट के लिए उनसे किस शख्स ने कॉन्टैक्ट किया था, यह भी पता लगाना है. इसके बाद ही आगे की कोई जानकारी हमारे हाथ लग पाएगी.
रिपोर्ट्स की मानें तो इस स्कैम के अंडर लाखों रुपये डिपॉजिट हो रखे हैं. बिहार, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, पंजाब, हरियाणा, दिल्ली, झारखंड और बाकी के राज्यों से भी लोगों ने इसमें पैसा इंवेस्ट किया हुआ है.
कॉन्ट्रोवर्सी से पहले भी घिर चुके हैं गोविंदा
ऐसा पहली बार नहीं हो रहा है, जब गोविंदा का नाम कॉन्ट्रोवर्सी में आया हो. रानी मुखर्जी संग इनके अफेयर की चर्चा हुई थी, जिसके बारे में गोविंदा ने कभी बात नहीं की.
एक बार गोविंदा ने 'मनी है तो हनी है' के सेट पर किसी फैन को थप्पड़ जड़ दिया था वो भी मीडिया और क्रू मेंबर्स के सामने. गोविंदा ने इसके लिए माफी भी नहीं मांगी थी.
कॉमेडियन कृष्णा अभिषेक संग इनकी कॉन्ट्रोवर्सी तो जगजाहिर है. दोनों ही मामा-भांजे एक दूसरे पर जुबानी हमला करते नजर आए हैं.
हाल ही में गोविंदा ने हरियाणा में हुए दंगों पर एक ट्वीट कर दिया था, जिसके बाद उन्हें काफी परेशानी झेलनी पड़ी थी. बाद में एक्टर ने कहा था कि उनका ट्विटर अकाउंट हैक हो गया था, जिसकी वजह से यह दिक्कत हुई.
गोविंदा ने बॉलीवुड में खूब नाम कमाया, पर एक समय ऐसा भी आया, जब एक्टर ने कहा कि इंडस्ट्री ने उनके खिलाफ साजिश रची. नतीजा यह हुआ कि उन्हें 16 करोड़ का नुकसान झेलना पड़ा.