scorecardresearch
 

Film Review: वॉर छोड़ न यार

आज सोहा अली खान, शरमन जोशी और जावेद जाफरी की वार कॉमेडी ‘वॉर छोड़ न यार’ रिलीज हो गई है. आइए जानते हैं, फिल्म में क्या है खास...

Advertisement
X
फिल्‍म का पोस्‍टर
फिल्‍म का पोस्‍टर

स्टार 2.5/5
फिल्म वॉर छोड़ न यार
डायरेक्टर फराज हैदर
कलाकार सोहा अली खान, शरमन जोशी और जावेद जाफरी

Advertisement

पिछले हफ्ते बड़े बजट की फिल्म ‘बेशर्म’ बॉक्स ऑफिस पर अच्छा प्रदर्शन नहीं कर सकी, और फायदा छोटी फिल्म ‘वॉर छोड़ न यार’ को मिला. इसके ज्यादा प्रिंट रिलीज किए गए और इसे ज्यादा शो भी मिले हैं. लेकिन फिल्म मझले बजट की है. कहानी भी बहुत रुटीन है. इससे किसी बड़े चमत्कार की उम्मीद नहीं की जा सकती. कहानी हकीकत से भी काफी दूर लगती है. लेकिन हंसाने वाली कोई भी बात अच्छी लगती है. फिल्म की कहानी के साथ बचकाना ट्रीटमेंट बढ़िया सब्जेक्ट को नुकसान पहुंचाता है. खास यह कि फिल्म 11 तारीख को रिलीज हुई है. 16 अक्‍टूबर को ‘बॉस’ रिलीज हो रही है. इसलिए फिल्म के पास कमाने के लिए पांच दिन ही हैं. सिर्फ नए नजरिये की वजह से ही फिल्म को देखा जा सकता है. बाकी सब सामान्य है.

Advertisement

कहानी में कितना दम
कहानी टेलीविजन रिपोर्टर रुत (सोहा अली खान) के भारत-पाकिस्तान युद्ध की कवरेज से जुड़ी है. यहां रुत की मुलाकात भारतीय सेना के कैप्टेन राज (शरमन जोशी) से होती है. फिर धीरे-धीरे रुत के साथ कहानी आगे बढ़ती है. फिल्म में पाकिस्तानी सेना का अजीबोगरीब कैप्टेन कुरैशी (जावेद जाफरी) है तो पाकिस्तानी सेना का कमांडर इन चीफ (संजय मिश्रा) है, जिसकी बातें सुनकर ठहाके ही लगते हैं. विषय के नएपन के लिए ‘वॉर छोड़ न यार’ की सराहना की जा सकती है. भारत और पाकिस्तान के संवेदनशील मुद्दे को नए ढंग से उठाया गया है.

स्टार अपील
सोहा अली खान ने बतौर जर्नलिस्ट अच्छा काम किया है. शरमन जोशी भी खूम जमते हैं और अपने कंधों पर फिल्म को काफी दूर तक लेकर जाते हैं. जावेद जाफरी भी हंसाते हैं. लेकिन संजय मिश्रा कमाल के हैं. वे अपनी हर फिल्म में कमाल-धमाल नजर आते हैं. दिलीप ताहिल कई रोल में दिखे हैं. अलग-अलग भूमिकाओं में वे जमे हैं. लेकिन कुल मिलाकर सितारों के पास कुछ भी एक्सट्रा ऑर्डिनरी करने के लिए नहीं था. इसलिए जिस तरह के रोल उन्हें मिले हैं, सब ने पूरी मेहनत के साथ काम किया है.

कमाई की बात
फिल्म का बजट बहुत ज्यादा नहीं है. 10-15 करोड़ रु. के बीच के बजट की यह फिल्म है. स्टार कास्ट बहुत सामान्य है और कहानी भी कोई बहुत दमदार नहीं है. ऐसे में कुछ ठहाके लगाने के लिए फिल्म अच्छी है. लेकिन इससे बहुत ज्यादा उम्मीद करना गलत होगा. बाकी सब जनता जनार्दन पर है.

Advertisement
Advertisement