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कुलदीप पटवाल: I Didn't Do It!: कमजोर फिल्म में दीपक डोबरियाल की शानदार एक्टिंग

राइटर, डायरेक्टर और प्रोड्यूसर रेमी कोहली ने अपनी पहली फिल्म के लिए जमीनी हकीकत से जुड़ी कहानी चुनी है. जिसमें काफी अलग तरह की कास्टिंग की गई है. जानते हैं अपनी पहली फिल्म से दर्शकों की कसौटी पर खड़े उतरने में रेमी कोहली को कितनी कामयाबी मिली है.

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फिल्म कुलदीप पटवाल: I Didn't Do It! का पोस्टर
फिल्म कुलदीप पटवाल: I Didn't Do It! का पोस्टर

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फिल्म: कुलदीप पटवाल: I Didn't Do It!

डायरेक्टर: रेमी कोहली

स्टार कास्ट: दीपक डोबरियाल, गुलशन देवैया, जमील खान, रायमा सेन, परवीन डबास, अनुराग अरोड़ा

अवधि: 2 घंटा 07 मिनट

सर्टिफिकेट: U/A

रेटिंग: 2 स्टार

राइटर, डायरेक्टर और प्रोड्यूसर रेमी कोहली ने अपनी पहली फिल्म के लिए जमीनी हकीकत से जुड़ी कहानी चुनी है. जिसमें काफी अलग तरह की कास्टिंग की गई है. जानते हैं अपनी पहली फिल्म से दर्शकों की कसौटी पर खड़े उतरने में रेमी कोहली को कितनी कामयाबी मिली है.

कहानी

फिल्म की कहानी भारत के ही एक कस्बे भारतसर से शुरू होती है. जहां कुलदीप पटवाल (दीपक डोबरियाल) अपने माता-पिता और पत्नी के साथ रहता है. जिंदगी के गुजर बसर के लिए उसने एक किराने की दूकान खोल रखी है. वहीं पिता एक ऑटो ड्राइवर हैं. एक दिन रैली के दौरान प्रदेश के मुख्यमंत्री वरुण चड्ढा (प्रवीण डबास) की गोली लगने से हत्या हो जाती है. वहां मौजूद होने के कारण हत्या का शक कुलदीप के ऊपर होता है. कुलदीप का केस मशहूर वकील प्रदुमन शाहपुरी (गुलशन देवैया) लड़ते हैं तो वहीं वरुण का केस उनकी धर्मपत्नी सिमरत चढ्ढा (रायमा सेन) लड़ती हैं. इस दौरान कहानी में कई ट्विस्ट टर्न्स आते हैं. आखिरकार कातिल कुलदीप है या कोई और? इसका पता आपको फिल्म देखकर ही चलेगा.

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कमजोर कड़ी

फिल्म की कहानी अच्छी है लेकिन स्क्रीनप्ले काफी गड़बड़ है. बार-बार प्रेजेंट और फ्लैशबैक को दर्शाने के चक्कर में मेकर्स आपके ध्यान को बहुत भटकाते हैं. एक वक्त के बाद आप भी बोर होने लगते हैं. कहानी भटकी हुई नजर आती है. फिल्म की कहानी सटीक और क्रिस्पी हो सकती थी. फिल्म कुलदीप पटवाल के नाम पर आधारित है लेकिन फिल्मांकन के दौरान इस किरदार के साथ न्याय नहीं हो पता. इस करेक्टर को और भी ज्यादा तवज्जो देने की जरूरत थी. एक बढ़िया कहानी, एक उम्दा फिल्म में तब्दील होते-होते रह गयी.

आखिर फिल्म को क्यों देख सकते हैं  

फिल्म में दीपक डोबरियाल ने काफी अलग तरह का किरदार निभाया है. दीपक ने अपने किरदार को बेहतरीन तरीके से निभाया है. रायमा सेन और बेहतर अभिनय कर सकती थीं. प्रवीण डबास, अनुराग अरोड़ा, जमील खान ने भी बहुत ही सहज अभिनय किया है. गुलशन देवैया ने अपने किरदार में जान फूंक दी है और पंजाबी में बात करते हुए बहुत ही नेचुरल अभिनय करते हुए दिखाई देते हैं. अच्छी बात ये भी है कि फिल्म में कोई भी जबरदस्ती के गाने नहीं हैं. डायरेक्शन बढ़िया है. आरक्षण के साथ साथ अस्पताल की कंडीशन जैसे मुद्दे की तरफ ध्यान आकर्षित करने की कोशिश की गयी है.

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बॉक्स ऑफिस

फिल्म का बजट लगभग 5-6 करोड़ का बताया जा रहा है. अहम समस्या इसके लिए स्क्रीन्स का आवंटन हो सकती है क्योंकि पहले से ही पद्मावत सिनेमाघरों में चल रही है. अगले हफ्ते पैडमैन और अय्यारी भी दस्तक देने वाली है. इस बीच देखना खास होगा कि ये फिल्म बॉक्स ऑफिस पर कैसा परफॉर्म कर पाएगी.

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