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जूनियर एनटीआर और राजामौली का कॉम्बो स्क्रीन पर क्या धमाका करता है, इसे RRR के जरिए सारी दुनिया देख चुकी है. हिंदी दर्शकों ने भी एनटीआर जूनियर को उनकी डबिंग फिल्मों में टीवी पर तो खूब देखा होगा, मगर इस विस्फोटक अवतार में उन्हें देखकर लोगों के मुंह तो खुले रह ही गए थे. खासकर फिल्म के एक बेहद महत्वपूर्ण गाने में एनटीआर का काम देखकर तो लोगों के रोंगटे खड़े हो गए थे. इस गाने में जूनियर एनटीआर की परफॉरमेंस पर, RRR डायरेक्टर राजामौली ने कहा था, 'मुझे नहीं लगता कि इंडियन स्क्रीन पर कोई दूसरा एक्टर वो कर सकता है, जो तारक ने 'कोमरम भीमुड़ो' गाने में किया.'
राजामौली को मॉडर्न इंडियन सिनेमा के दौर में सबसे कामयाब और जीनियस डायरेक्टर्स में गिना जाता है. उनके क्राफ्ट का इससे बड़ा सबूत क्या होगा कि RRR ऑस्कर तक की दौड़ में शामिल हुई और एक अवार्ड भी ले आई. इसलिए जब राजामौली जूनियर एनटीआर की तारीफ इस तरह करते हैं तो इसक वजन और बढ़ जाता है. राजामौली का जादू पूरे देशभर की जनता ने 'मगधीरा' और 'बाहुबली' जैसी फिल्मों से ज्यादा डिस्कवर किया है. लेकिन उससे पहले भी वो स्क्रीन पर अपनी सिनेमेटिक ब्रिलियंस का जलवा दिखाते रहे हैं. और इस सफर में जूनियर एनटीआर उनके सबसे कामयाब और पक्के साथी रहे हैं.
स्क्रीन पर धमाका करने वाली ये जोड़ी, रियल लाइफ में भी बहुत क्लोज है. इतनी क्लोज कि जूनियर एनटीआर अपनी कामयाबी का क्रेडिट राजामौली को देते हैं. RRR के प्रमोशन के दौरान जूनियर एनटीआर उर्फ तारक ने कहा था कि एक समय वो एक एक्टर के तौर पर बहुत कन्फ्यूज थे और फिल्में न चलने से डिप्रेशन में जा रहे थे. तब राजामौली ने उन्हें संभाला.
जूनियर एनटीआर को शुरुआत में ही मिला राजामौली का साथ
तेलुगू फिल्म इंडस्ट्री की नींव रखने वाले दो सबसे बड़े पिलर्स में से एक, एन.टी. रामाराव के पोते तारक ने बचपन से एक्टिंग शुरू कर दी थी. तारक ने 7 साल की उम्र में अपने दादा की फिल्म 'ब्रह्मर्षि विश्वामित्र' (1991) से एक्टिंग शुरू की. 1997 में आई 'रामायणम' में उन्होंने भगवान राम का लीड किरदार निभाया. नेशनल अवार्ड जीतने वाली इस फिल्म में तारक के काम को बहुत तारीफ मिली.
इस परफॉरमेंस की वजह से ही एक डायरेक्टर ने उनका नाम 'स्टूडेंट नंबर 1' के लिए सुझाया. एसएस राजामौली इस फिल्म से डायरेक्शन में डेब्यू कर रहे थे. राजामौली और परफेक्शन के लिए उनकी भूख शुरू से ही बहुत चर्चा में थे. 'स्टूडेंट नंबर 1' को तैयार होने में अच्छा-खासा लंबा टाइम लगा. इस बीच तारक उर्फ जूनियर एनटीआर की ऑफिशियल डेब्यू फिल्म 'Ninnu Choodalani', बुरी तरह फ्लॉप हो गई.
एनटीआर जैसे सिनेमा आइकॉन की विरासत को आगे बढ़ाने चले, 17 साल के तारक के लिए ये एक बाद झटका था. किसी बड़ी लिगेसी वाले स्टार का फेलियर, उसकी कामयाबी से कहीं ज्यादा चर्चा बटोरता है. लेकिन तबतक 'स्टूडेंट नंबर 1' तैयार होकर थिएटर्स पहुंची और यहां से तेलुगू इंडस्ट्री को जूनियर एनटीआर नाम का एक सितारा मिला.
एनटीआर-राजामौली कॉम्बो का कमाल
'स्टूडेंट नंबर 1' के बाद तारक की अगली 4 फिल्मों में, 'आदि' (2002) ही एक बड़ी हिट रही. जबकि 2 फिल्में फ्लॉप रहीं और एक, किसी तरह एवरेज कलेक्शन मैनेज कर पाई. 2003 में 'सिम्हाद्री' के साथ राजामौली-तारक की जोड़ी ने एक बार फिर बड़े पर्दे पर भौकाल जमाया. फिल्म ने जमकर कमाई की और जूनियर एनटीआर की परफॉरमेंस को लोगों ने खूब प्यार दिया.
मगर इसके बाद अगले 4 साल राजामौली ने फिर अलग-अलग हीरोज के साथ अपने प्रोजेक्ट शुरू किए. इधर जूनियर एनटीआर का करियर भी स्ट्रगल के दौर से गुजरने लगा. राजामौली के साथ दोबारा आने से पहले उन्होंने 6 फिल्में कीं, जिनमें से 4 तो सीधी फ्लॉप रहीं. बाकी दो जैसे-तैसे अपनी कमाई निकाल सकीं. 2007 में 'यमडोंगा' पर एक बार फिर राजामौली और एनटीआर साथ आए. इस जोड़ी ने एक बार फिर बॉक्स ऑफिस पर कमाई का ढेर जुटा दिया.
राजामौली की 3 फिल्में, जूनियर एनटीआर के करियर की वो नींव हैं जिनके बिना शायद वो इतने बड़े स्टार नहीं बन पाते. राजामौली ने सिर्फ तारक को बड़ी हिट फिल्में ही नहीं दीं, बल्कि उनके एक्टिंग टैलेंट को भी जनता के सामने बखूबी पेश किया.
जूनियर एनटीआर ने देखा स्ट्रगल का दौर
2012 के बाद तारक की फिल्में अगले 3 साल फिर से संघर्ष करने लगीं. इस दौर में 'बादशाह' (2013) को छोड़कर, उनकी कोई फिल्म क्लियर-कट बड़ी हिट नहीं हुई. दो फिल्में 'रमैय्या वस्तावैय्या' और 'रभासा' तो बैक टू बैक बुरी तरह फ्लॉप रहीं. शायद इसी दौर के बारे में जूनियर एनटीआर ने 2021 के एक इंटरव्यू में बात की. उन्होंने कहा 'लेकिन आप कितने साल ऊपर जाते रहोगे?जब आप तेजी से ऊपर जाते हो तो आगे गिरते भी बहुत तेजी से हो. ऐसी फिल्में आ रही थीं जो चल नहीं रही थीं, और मैं डिप्रेस हो गया था. इसलिए नहीं कि फिल्में नहीं चल रहीं. बल्कि मैं एक एक्टर के तौर पर कन्फ्यूज होने लगा था.' जूनियर एनटीआर ने कहा कि उन्हें पता ही नहीं था कि वो क्या कर रहे हैं और वो कुछ करना चाहते थे.
राजामौली की सलाह
तारक ने बताया कि इस समय राजामौली ने उन्हें सलाह दी कि वो अपने अंदर झांकें और तय करें कि वो किस तरह का काम ज्यादा करना चाहते हैं. जूनियर एनटीआर ने कहा, 'वहां से चीजें बदलने लगीं और आज मैं वहां हूं जहां अपनी फिल्मों की कामयाबी से नहीं, बल्कि एक एक्टर के तौर पर संतुष्ट हूं.' उन्होंने कहा कि राजामौली की सलाह के बाद उन्होंने अपना कम्फर्ट जोन छोड़ दिया और खुद को एक्सप्लोर करने लगे, एक एक्टर के तौर पर नई जगहें तलाशने लगे.
जूनियर एनटीआर का शानदार दौर
2015 में आई 'टेम्पर' से जूनियर एनटीआर के करियर का ग्राफ लगातार ऊपर की तरफ जा रहा है. पहली बार 'बादशाह' (2013) से बॉक्स ऑफिस पर 100 करोड़ वाली कामयाबी चखने वाले जूनियर एनटीआर, 2016 में आई 'Nannaku Prematho' से लगातार सेंचुरी लगा रहे हैं. इस बीच वो 'जनता गैराज' 'जय लव कुश' और 'अरविंद समेथा' जैसी बड़ी हिट्स दे चुके हैं. 2022 में RRR पर एक बार फिर जूनियर एनटीआर और राजामौली साथ आए. राम चरण के साथ पैरेलल लीड कर रहे जूनियर एनटीआर ने इंडियन सिनेमा को सबसे बड़ी हिट्स में से एक दी है. RRR वर्ल्डवाइड 1100 करोड़ से ज्यादा कमाने वाली फिल्म है.
जूनियर एनटीआर की बात करें तो उनकी अगली फिल्म का टाइटल फ़िलहाल 'NTR 30' रखा गया है. 'जनता गैराज' वाले डायरेक्टर कोरताला शिवा के साथ उनकी इस फिल्म में बहुत बड़ी हिट होने के सभी लक्षण हैं. इसके बाद वो 'KGF' फेम प्रशांत नील की अगली फिल्म में नजर आएंगे, जिसकी अनाउंसमेंट का क्रेज ही बताता है कि ये कितनी बड़ी हिट हो सकती है.