एक्टर अभय देओल ने कुछ दिनों पहले फेयरनेस क्रीम का ऐड करने वाले बॉलीवुड सिलेब्स पर निशाना साधा था. उनके मुताबिक ये सिलेब्स रंगभेद को बढ़ावा दे रहे हैं. जिनका रंग काला होता है, उन्हें गोरे होने की जरूरत नहीं है. सबको अपने रंग पर गर्व होना चाहिए. हालांकि सिर्फ अभय ने ही इसका विरोध नहीं किया है. इसके पहले कुछ और बॉलीवुड एक्टर्स ने ऐसे ऐड्स करने से मना किया है...
2011 में रणबीर कपूर ने फेयरनेस क्रीम का ऐड करने से मना कर दिया था. उन्होंने कहा था कि ऐसे ऐड्स रंगभेद को बढ़ावा देते हैं.
एक्ट्रेस कंगना रनोट भी ऐसा कर चुकी हैं. उन्होंने 2 करोड़ का ऑफर ठुकराते हुआ कहा था कि बचपन से मैं काले-गोरे के भेद को समझ नहीं पाई हूं. पब्लिक फिगर होने के नाते मेरी कुछ जिम्मेदारियां हैं.
स्वरा भास्कर को साल 2015 में फेयरनेस क्रीम का ऐड करने का ऑफर मिला था. उन्होंने इस ऑफर को ठुकराते हुए कहा था कि ऐसी सोच को बदलना चाहिए. जो जैसा है, उसे खुद को वैसे ही प्यार करना चाहिए.
रणदीप हुड्डा भी लड़कों के फेयरनेस क्रीम के ऐड का प्रस्ताव ठुकरा चुके हैं. उन्होंने कहा कि खूबसूरती का आधार गोरा होना ही नहीं होता.
एक्ट्रेस कल्कि कोचलीन भी ऐसा कर चुकी हैं. उन्होंने कहा कि गोरा होने में बुराई नहीं है लेकिन हमारे समाज में खूबसूरती को रंग से ही आंका जाता है.