अपने चार साल के फिल्मी करियर में रणबीर कपूर ने हास्य, राजनीतिक थ्रिलर एवं ड्रामा हर प्रकार की फिल्मों में अभिनय किया है. बॉलीवुड के महान शोमैन राजकपूर के पोते ने कहा कि वह हर प्रकार की भूमिकाएं करना चाहते हैं एवं और 'सबसे बड़ा अभिनेता' बनना चाहते हैं.
रणबीर ने अपने करियर की शुरुआत 2007 में 'सावरिया' से की. इसके बाद 'बचना ए हसीनों' एवं 'वेक अप सिड' जैसी हल्की फुल्की फिल्में करने के बाद 'राजनीति' में वह चॉकलेटी ब्वॉय की छवि से बाहर निकल कर गम्भीर अभिनेता नजर आए. इस फिल्म से उन्होंने अपने प्रति लोगों के दृष्टिकोण को बदल दिया. अब वह दर्शकों के सामने 'रॉकस्टार' एवं 'बर्फी' के साथ आ रहे हैं.
रणबीर ने कहा, 'मैं आशा करता हूं कि मैं प्रत्येक चरित्र के साथ सीखता जाऊंगा. मैं उत्कृष्ट अभिनेता बनना चाहता हूं. मुझे लगता है कि मैं सही रास्ते पर हूं और खुशनसीब हूं कि ऐसे प्रतिभावान निर्देशकों के साथ काम करने का मौका मिला' आलोचकों से बेपरवाह रणबीर ने कहा, 'मैं अपनी तरक्की और करियर से खुश हूं. लोगों ने नकारात्मक टिप्पणी करके मुझे नीचे धकेलने की कोशिश की है, लेकिन इन सबका मुझ पर कोई फर्क नहीं पड़ता.'
महान कलाकार पृथ्वीराज कपूर के पड़पोते एवं बीते दिनों के स्टार ऋषि कपूर एवं नीतू सिंह के पुत्र रणबीर अपने दादाजी की तरह निर्देशन में भी हाथ आजमाना चाहते हैं. उन्होंने कहा, 'मैं निर्देशन करना चाहता हूं लेकिन दिक्कत यह है कि मैं अपने विचारों को लिख नहीं सकता. मैं 'श्री 420' एवं 'जागते रहो' जैसी फिल्में बनाना चाहता हूं. अपनी आने वाली फिल्म 'रॉकस्टार' के बारे में इस 29 वर्षीय अभिनेता ने कहा, 'इस फिल्म में मैंने जाट लड़के का किरदार निभाया है, जो दिल्ली के पीतमपुरा में रहता है और हिंदू कॉलेज में पढ़ता है. यह प्रेम कहानी है. संगीत इसमें आकस्मिक है.'
रणबीर ने कहा कि उन्हें जाट लड़के की भूमिका निभाने में काफी दिक्कत आई. उन्होंने कहा, 'मेरा चरित्र समाज के जिस स्तर से जुड़ा था उससे मेरा कभी संपर्क नहीं हुआ है. इसलिए मैंने दिल्ली में एक जाट परिवार के साथ रहा.' इस फिल्म में रणबीर ने एक महत्वाकांक्षी संगीतकार की भूमिका निभाई है.