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बॉलीवुड एक्टर्स तैयार करने की फैक्ट्री नहीं है नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा: जीशान अय्यूब

'रांझणा' और 'तनु वेड्स मनु रिटर्न्स' सरीखी फिल्मों में एक्टिंग कर जीशान अय्यूब ने इंडस्ट्री से ज्यादा लोगों के दिलों में जगह बना ली है. जीशान की अदाकारी का हर कोई कायल है.

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मोहम्मद जीशान अय्यूब
मोहम्मद जीशान अय्यूब

'रांझणा' और 'तनु वेड्स मनु रिटर्न्स' सरीखी फिल्मों में एक्टिंग कर जीशान अय्यूब ने इंडस्ट्री से ज्यादा लोगों के दिलों में जगह बना ली है. जीशान की अदाकारी का हर कोई कायल है. उनका पर्दे पर आना ही दर्शकों के लिए रोमांचकारी होता है. हालिया रिलीज फिल्म 'फैंटम' में भी जीशान एक रॉ ऑफिसर के किरदार में खूब जमे थे. जीशान अगले साल रिलीज होने वाली शाहरुख खान की फिल्म 'रईस' में भी अपनी एक्टिंग का जौहर दिखाते नजर आएंगे. आजतक के साथ एक खास बातचीत में जीशान ने अपने बॉलीवुड के अभी तक के सफर की कहानी बयां की.

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कब लगा आपको कि एक्टिंग में ही करियर बनाना है?
देखिए यह एक प्रोसेस था दिल्ली युनिवर्सिटी के कॉलेज से थिएटर करते समय ही एक्टिंग की तरफ मेरा रुझान हो गया था. उसके बाद मैंने NSD ज्वाइन किया और मन लगाकर थिएटर किया फिर मुंबई आ गया. तो यह एक प्रोसेस था जो अभी भी चल रहा है.

आनंद एल राय और हंसल मेहता दोनों में से किसके साथ काम करके ज्यादा सीखने को मिला?
सीखने के लिहाज से अगर देखा जाए तो हर आदमी हमें कुछ ना कुछ सिखाता ही है. बस आपमें सीखने की ललक होनी चाहिए. दोनों डायरेक्टर्स के काम करने का अंदाज अलग है तो दोनों से काफी कुछ सीखने को मिला.

आप फिल्म 'रईस' में शाहरुख खान के साथ नजर आने वाले हैं. शाहरुख खान के साथ काम करने का आपका अनुभव बताएं.
सबसे पहले तो बताना चाहूंगा कि शाहरुख खान बचपन से मेरे फेवरेट एक्टर रहे हैं. शाहरुख खान के साथ काम करना किसी सपने से कम नहीं रहा. वह अपने काम के प्रति इमानदारी से समर्पित एक बेहतरीन इंसान हैं. शाहरुख खान की खास बात यह है कि अपनी जिंदगी में उन्होंने जो भी काम किया उसे बेहतर ढंग से किया. मिसाल के तौर पर जब वह कॉलेज में फुटबॉल खेलते थे तो वह टीम के कैप्टन थे. पढ़ाई के मामले में भी शाहरुख खान हमेशा टॉप करते थे तो उनसे सीखने वाली बात रही कि आप जो भी काम करो उसे पूरी मेहनत और इमानदारी से करो आपको सफलता मिलेगी.

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'रईस' में फिर से आप एक सपोर्टिंग किरदार में नजर आने वाले है. आपको नहीं लगता कि आपको एक ही तरह के रोल ऑफर किए जा रहे हैं?
जी अगर कैरेक्टर पसंद आ गया तो मुझे परवाह नहीं कि मेरी इमेज कैसी बन रही है. मेरे लिए यह महत्वपूर्ण है कि मैं अपना किरदार ढंग से निभा पा रहा हूं या नहीं. मैं बस अच्छे रोल करना चाहता हूं. 'रईस' में मैं शाहरुख के दोस्त के किरदार में दिखूंगा जो पहले निभाए गए सपोर्टिंग किरदारों से काफी अलग और दिलचस्प है.

आप NSD से ग्रेजुएट हैं. ऐसा क्या कारण है कि NSD (नेशनल स्कूल ऑफ ड्रामा) से आजकल कम एक्टर्स बॉलीवुड में आ रहे हैं?
देखिए यह लोगों के बीच एक गलत धारणा है कि NSD से बॉलीवुड एक्टर्स तैयार किए जाते हैं. आपको बताना चाहूंगा NSD की स्थापना मुख्यतः रंगमंच को आगे बढ़ाने के लिए हुई थी. कैमरे के सामने एक्टिंग के लिए FTII (फिल्म एंड टेलिविजन इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया) बनाया गया है. तो NSD थिएटर एक्टर्स तैयार करता है ना कि बॉलीवुड एक्टर्स, और रही बात NSD ग्रेजुएट्स का बॉलीवुड आने की तो कई लोग हैं जो अभी भी थिएटर ही करना चाहते हैं उन्हें फिल्मों से कोई लगाव नहीं है और वह अच्छा काम कर रहे हैं.

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कोई ड्रीम रोल जो आप करना चाहते हैं?
मैं थिएटर एक्टर सफदर हाशमी और भाकपा के युवा नेता चंद्रशेखर का रोल करना चाहूंगा.

इंडस्ट्री में आने का सपना देखने वालों को कोई खास संदेश?
बस आप अपना काम पूरी इमानदारी से करिए. इंडस्ट्री में ही नहीं जिस भी फील्ड में आप हैं उसमें अगर आप पूरी मेहनत व लगन से काम करेंगे तो सफलता आपको मिलेगी.

 

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