कौन बनेगा करोड़पति शो में एक करोड़ जीतने के बाद गीता का मानना है कि चाहे उम्र कितनी भी हो जाए लेकिन इंसान को सपना देखना नहीं छोड़ना चाहिए. अपने सपने की ओर धीरे-धीरे कदम बढ़ाते रहें और कब आप मंजिल तक पहुंच जाएंगी इसका अंदाजा भी लग पाएगा. मेरे साथ भी बिलकुल ऐसा ही हुआ है.
गीता कहती हैं, जब से केबीसी ऑनएयर हुआ, तब से मैंने इसमें हिस्सा लेने का ख्वाब देखा है. मैं हर साल इसके लिए प्रयास किया करती थी. मैंने 16 से 17 साल की कोशिश की है. जब भी हारती थी, तो उस वक्त बहुत निराश हो जाती थी. मेरे बच्चे मुझे हताश देखकर कहा करते थे कि मम्मी मत करो ट्राई क्योंकि जब तुम नहीं सिलेक्ट होती हो, तो हमें तुम्हें उदास देखकर काफी बुरा लगता है. लेकिन मैंने ठान ली थी, चाहे जिंदगी गुजर जाए, कोशिश करती रहूंगी.
Raqesh Bapat की तबीयत बिगड़ी, अस्पताल में भर्ती, क्या होंगे Bigg Boss से बाहर?
दूसरी इनिंग की होगी शुरूआत
अपनी निजी जिंदगी के बारे में बात करते हुए गीता बताती हैं, मैं शादी कर ग्वालियर शिफ्ट हो गई हूं. पढ़ाई में मैंने एलएलबी की है लेकिन बच्चों व परिवार की जिम्मेदारी की वजह से मैंने अपने करियर से समझौता किया था. हालांकि मुझे इस बात का कोई मलाल नहीं है. मुझे खुशी होती है कि मैं उस वक्त अपने बच्चों के साथ इमोशनली अवेलेबल रही, जब उन्हें मेरी जरूरत थी. मेरी दोनों बेटियों की शादी हो चुकी है और आने वाले 8 दिसंबर को मेरे बेटे की शादी है. मेरी उम्र 54 साल की है, तो अब सबको सेटल कर मैं अपनी दूसरी इनिंग की शुरूआत करूंगी.
बेटे की शादी पर थोड़े पैसे करुंगी खर्च
मैं केबीसी की शुक्रगुजार हूं कि उन्होंने मेरी दूसरी इनिंग में मेरी पहचान बनाने में मदद की है. यहां से लोग मुझे जानने लगे हैं और सोने पर सुहागा कि मैंने एक करोड़ रूपये भी जीत लिए हैं. अगर 8 दिसंबर से पहले पैसे मिलते हैं, तो मैं इसे कुछ अपने बेटे की शादी में खर्च करुंगी और बाकि के पैसे से कोई बिजनेस का प्लान करूंगी. फिलहाल मैं एलएलबी की प्रैक्टिस करूंगी क्योंकि मैं अपनी इस डिग्री को जाया नहीं करना चाहती हूं.
Katrina Kaif का Mohammad Kaif से क्या है कनेक्शन? Ex क्रिकेटर ने बताया था सरनेम का सीक्रेट
एक करोड़ का सवाल मेरे लिए बहुत आसान था
मैं पैसे जीतने के बाद कांप रही थी. मैंने यही सोचा था कि मैं वहां जाकर उस शो की टाइटल को चरितार्थ कर पाऊं. आप यकीन नहीं मानेंगी, जो सवाल मुझसे एक करोड़ के लिए पूछे गए थे, वो मेरे लिए बेहद आसान थे. मुझे ज्यादा वक्त नहीं लगा था. सवाल खेल से था कि राजीव गांधी खेल रत्न किसे दिया गया था और जवाब मुझे बहुत अच्छे से आता था. वहीं सात करोड़ के सवाल में उलझ गई थी जो मुगल शासन से जुड़ा था.
अमिताभ बच्चन को सामने देख
मैं अमिताभ जी की आवाज की मुरीद हूं. उनकी आवाज बहुत ही अद्भुत है. ऐसी प्रभावी पर्सनैलिटी को अपने सामने देखकर नर्वस होना, तो लाजमी है. यकीन नहीं हो रहा था कि जिंदगीभर जिसे टीवी पर देखा उनके साथ बैठी हूं. अमिताभ जी की सबसे बड़ी खासियत यह है कि वे सामने वाले को सहज कर देते हैं. ऐसा लग रहा था कि मैं किसी अपने जानने वाले से ही बातचीत कर रही थी. शो के दौरान का एक-एक पल मेरे लिए ना भूलने जैसा है.