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वो लड़की जिसे 'मामा' कहती थी. पिता की मौत के बाद वो जिसमें अपने पिता का अक्स देखती थी. उसकी मां ने भी भरोसा कर उसे जिस परिवार के पास छोड़ दिया था. उसी ने दरिंदगी का वो चेहरा दिखाया कि रूह कांप जाए. आरोपी भी वो शख्स जो ऊंचे पद पर बैठा था. उस विभाग का बड़ा सरकारी अफसर, जिसके ऊपर महिलाओं और बच्चों से जुड़े काम देखना था.
दिल दहला देने वाली ये कहानी और कहीं से नहीं, बल्कि राजधानी दिल्ली से आई है. इस मामले में पुलिस ने आरोपी अफसर और उसकी पत्नी को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी अफसर पर महीनों तक कई बार नाबालिग लड़की के साथ रेप करने का आरोप है. इस काम में उसकी पत्नी ने भी मदद की. पीड़िता जब प्रेग्नेंट हुई तो प्रेग्नेंसी रोकने के लिए आरोपी की पत्नी ने उसे अबॉर्शन पिल्स दीं.
आरोपी अफसर का नाम प्रेमोदय खाखा है. वो दिल्ली सरकार के महिला एवं बाल विकास विभाग में डिप्टी डायरेक्टर था. मामला सामने आने के बाद उसे सस्पेंड कर दिया गया है.
पुलिस ने बताया कि प्रेमोदय खाखा ने अपने मृत दोस्त की नाबालिग बेटी से कई बार दुष्कर्म किया. इस कारण वो प्रेग्नेंट भी हो गई. प्रेग्नेंसी रोकने के लिए उसकी पत्नी सीमा रानी ने पीड़िता को अबॉर्शन पिल दी.
इस मामले में पुलिस ने 13 अगस्त को केस दर्ज किया था. आरोपी पति-पत्नी के खिलाफ पॉक्सो एक्ट भी लगाया गया है. आरोपी दंपति बुराड़ी इलाके के शक्ति एनक्लेव में रहते हैं. हैरानी वाली बात ये है कि पीड़िता आरोपी को 'मामा' कहकर बुलाती थी.
है क्या पूरा मामला?
पुलिस ने बताया कि आरोपी अफसर और पीड़िता के पिता दोनों अच्छे दोस्त थे. पीड़िता के पिता की मौत होने के बाद 1 अक्टूबर 2020 को आरोपी पीड़िता को अपने घर ले गया था.
इसके बाद आरोपी अफसर उनकी बेटी को अपने घर ये कहकर ले आया कि वो उसकी अच्छे से देखभाल करेगा.
आरोपी के घर पीड़िता नवंबर 2020 से जनवरी 2021 तक रही. इस दौरान कई बार आरोपी प्रेमोदय ने उसके साथ रेप किया.
इसकी वजह से नाबालिग पीड़िता प्रेग्नेंट भी हो गई. जब वो प्रेग्नेंट हुई तो आरोपी की पत्नी सीमा रानी ने उसे अबॉर्शन पिल्स दे दीं. ये पिल्स उसने अपने बेटे से ही मंगवाई थीं.
जनवरी 2021 में पीड़िता की मां उससे मिलने के लिए आई. तभी वो अपनी मां के साथ अपने घर वापस लौट गई.
अब कैसे सामने आई आरोपी की करतूत?
इस बात को ढाई साल से भी ज्यादा बीत गया. लेकिन आरोपी और उसकी पत्नी की करतूत छिपी रही. ये तब खुली जब पीड़िता ने अस्पताल में काउंसलर को आपबीती बताई.
पीड़िता के साथ जब रेप हुआ, तब उसकी उम्र 14 साल थी. अब वो 17 साल की हो गई है और 12वीं में पढ़ती है.
अपने साथ हुई इस हरकत से वो मेंटल ट्रॉमा से गुजर रही थी. एक दिन एंग्जायटी अटैक आया और उसे अस्पताल ले जाया गया. यहां उसने काउंसलर को सारी बात बता दी.
पुलिस ने क्या किया?
इस पूरे मामले में पुलिस की भूमिका पर भी सवाल उठ रहे हैं. मामले में पुलिस ने 13 अगस्त को केस दर्ज कर लिया था. लेकिन हफ्तेभर तक आरोपी और उसकी पत्नी की गिरफ्तारी नहीं हुई.
पुलिस ने बताया कि आरोपी दंपति पर पॉक्सो एक्ट के अलावा आईपीसी की धारा 376(2)(f) (रिश्तेदार, गार्जियन, शिक्षक या महिला के भरोसेमंद होने पर उसके साथ रेप करना) और धारा 509 (शब्दों या इशारों से महिला की गरिमा को ठेस पहुंचाना) के तहत केस दर्ज किया गया है.
इसके अलावा आईपीसी की धारा 506 (आपराधिक धमकी), 323 (जानबूझकर चोट पहुंचाना), 313 (महिला की सहमति के बगैर उसका गर्भपात करवाना) और 120B (आपराधिक साजिश) भी लगाई गई है.
आरोपी का क्या है कहना?
प्रेमोदय और सीमा ने अपने ऊपर लगे इन आरोपों को खारिज कर दिया है. आरोपियों ने अपने ऊपर लगे इन आरोपों को झूठा बताया है.
इतना ही नहीं, बताया ये भी जा रहा है कि दोनों आरोपी गिरफ्तारी से बचने के लिए कोर्ट में जमानत अर्जी दाखिल करने की तैयारी भी कर रहे थे.
पुलिस ने दोनों को गिरफ्तार कर लिया है. आरोपी सीमा रानी को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है. वहीं, आरोपी प्रेमोदय खाखा को मंगलवार को कोर्ट में पेश किया जाएगा.
पीड़िता की मां ने क्या कहा?
पीड़िता की मां ने मामले पर कुछ भी कहने से मना कर दिया है. उन्होंने एक चिट्ठी लिखी है. इसमें उन्होंने लिखा है, 'मेरी बेटी ने मजिस्ट्रेट के सामने बयान दे दिया है, अब हम किसी से नहीं मिलना चाहते, इस गंभीर स्थिति में और तनाव न दें... प्लीज हमारी प्राइवेसी का सम्मान करें.'
सरकार क्या कर रही?
मामला सामने आने के बाद मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल के निर्देश पर आरोपी अफसर को सस्पेंड कर दिया गया है. सीएम केजरीवाल ने मुख्य सचिव से रिपोर्ट भी मांगी है.
दिल्ली सरकार में महिला एवं बाल विकास मंत्री आतिशी ने न्यूज एजेंसी से कहा कि अफसर के खिलाफ लगे आरोप 'चिंताजनक और चौकाने' वाले थे, क्योंकि उनपर महिलाओं और बच्चों की सुरक्षा करने की जिम्मेदारी थी.
आतिशी ने मांग की कि इस मामले की सभी एंगल से जांच की जानी चाहिए. साथ ही उन्होंने ये भी कहा कि इस मामले में आरोपियों के खिलाफ फास्ट-ट्रैक कार्रवाई होनी चाहिए.