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महिलाओं से रेप, पुरुषों की जबरन नसबंदी... कौन हैं उइगर मुसलमान, जिन पर अत्याचार कर रहा चीन!

संयुक्त राष्ट्र ने अपनी रिपोर्ट में चीन के शिनजियांग प्रांत में रह रहे उइगर मुसलमानों पर अत्याचार होने का दावा किया है. संयुक्त राष्ट्र ने रिपोर्ट में चीन पर मानवाधिकारों के गंभीर उल्लंघन का आरोप लगाया है. रिपोर्ट के मुताबिक, महिलाओं के साथ रेप किया गया. उन्हें कपड़े उतारने के लिए मजबूर किया जाता है.

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चीन पर उइगर मुसलमानों पर अत्याचार करने के आरोप लगते रहे हैं. (फाइल फोटोः Getty Images)
चीन पर उइगर मुसलमानों पर अत्याचार करने के आरोप लगते रहे हैं. (फाइल फोटोः Getty Images)

चीन पर एक बार फिर उइगर मुसलमानों पर अत्याचार करने के आरोप लगे हैं. संयुक्त राष्ट्र ने अपनी रिपोर्ट में चीन पर मानवाधिकारों के 'गंभीर उल्लंघन' का दावा किया है. रिपोर्ट में दावा किया गया है कि शिनजियांग प्रांत में रह रहे उइगर मुसलमानों पर चीन अत्याचार कर रहा है, जो 'मानवता के खिलाफ अपराध' के बराबर है. हालांकि, चीन इन आरोपों को अक्सर खारिज करता रहा है. चीन ने संयुक्त राष्ट्र से ये रिपोर्ट जारी न करने की अपील भी की थी और इसे पश्चिमी देशों का 'तमाशा' बताया था.

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इस रिपोर्ट में दावा किया गया है कि शिनजियांग प्रांत में उइगर मुसलमानों को बुरी तरह टॉर्चर किया जा रहा है. ये भी दावा किया गया है कि 10 लाख से ज्यादा लोगों को 'रि-एजुकेशन कैम्प' में हिरासत में रखा गया है. संयुक्त राष्ट्र की टीम ने वहां रह रहे लोगों से बात कर ये रिपोर्ट तैयार की है. संयुक्त राष्ट्र का कहना है कि उन्हें शिनजियांग में हो रहे अत्याचारों के पक्के सबूत मिले हैं. 

इस रिपोर्ट का स्वागत करते हुए व्हाइट हाउस की प्रेस सचिव करेन जीन-पिएर ने कहा कि ये रिपोर्ट चीन की ओर से उइगर मुसलमानों और दूसरे अल्पसंख्यक समुदायों पर किए जा रहे नरसंहार और अत्याचारों को उजागर करती है. उन्होंने कहा कि रिपोर्ट ने शिनजियांग में हो रहे मानवता के खिलाफ अपराध को लेकर चिंता को और गहरा दिया है.

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वहीं, चीन ने इस रिपोर्ट में किए गए दावों को खारिज किया है. चीन के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता वांग वेनबिन ने कहा कि ये तथाकथित रिपोर्ट अमेरिका और कुछ पश्चिमी ताकतों ने बनाई है, जो पूरी तरह से अवैध है.

चीन पर अक्सर शिनजियांग में अत्याचार करने के आरोप लगते रहे हैं. हालांकि, चीन इसका बचाव करते हुए कहता है कि उसका मकसद पूर्वी तुर्किस्तान इस्लामिक मूवमेंट (ETIM) को रोकना है, जो कथित तौर पर अल-कायदा और इस्लामिक स्टेट जैसे आतंकी संगठन से जुड़ा है.

शिनजियांग की 45 फीसदी आबादी उइगर मुसलमानों की है. (फाइल फोटो-Getty Images)

कौन हैं ये उइगर मुसलमान?

उइगर असल में सुन्नी मुसलमान हैं, जो खुद को सांस्कृतिक और जनजातीय रूप से मध्य एशियाई देशों के करीब मानते हैं. ये तुर्की भाषा बोलते हैं. 

उइगर मुसलमान चीन के पश्चिमी प्रांत शिनजियांग में रहते हैं. उइगर मुसलमानों की सबसे बड़ी शिनजियांग में ही रहती है. इसके अलावा उज्बेकिस्तान, किर्गिस्तान और कजाखस्तान में भी ये लोग रहते हैं.

संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट के मुताबिक, 1953 में शिनजियांग में 75% से ज्यादा आबादी उइगर मुसलमानों की थी, जबकि हान चीनी (चीन का बहुसंख्यक समुदाय) की आबादी महज 7% ही थी. लेकिन, अब यहां की 45% आबादी उइगर और 42% हान चीनियों की है. उइगर और हान चीनियों के अलावा शिनजियांग में हुई, कजाख, किर्गिज, मंगोल और ताजिक लोग भी रहते हैं.

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संयुक्त राष्ट्र का मानना है कि हाल के दशकों में बड़ी संख्या में हान चीनियों ने शिनजियांग की ओर पलायन किया है. इसका मकसद यहां उइगर मुसलमानों की आबादी को कम करना और वहां बहुसंख्यक समुदाय को बसाना है.

संयुक्त राष्ट्र की रिपोर्ट की 5 बड़ी बातें

1. संयुक्त राष्ट्र ने अपनी रिपोर्ट में दावा किया है कि उसके अत्याचारों पर खुलकर बोलने वालों को वहां की सरकार धमकाती है. एक उइगर मुसलमान ने दावा किया है कि उससे चुप रहने के लिए एक दस्तावेज में साइन करवाए गए थे. उससे कहा गया था कि अगर उसने कैम्प के बारे में कुछ भी कहा तो लंबे समय के लिए उसे और उसके परिवार को हिरासत में बंद कर दिया जाएगा.

2. चीन आतंकवाद और चरमपंथ के खिलाफ लड़ाई बताते हुए मानवाधिकार का उल्लंघन कर रहा है. शिनजियांग में रहने वाले उइगर मुसलमानों को जबरन हिरासत में रखा जाता है या गिरफ्तार कर लिया जाता है. कई मामलों में तो उनके परिवार वालों को ये भी नहीं बताया जाता कि वो कहां पर है. इतना ही नहीं, अगर किसी के परिजन विदेश में हैं, तो वो उनसे बात भी नहीं कर सकते. एक व्यक्ति ने बताया कि वो विदेश में रह रहे अपने परिजनों से बात भी नहीं कर सकता, क्योंकि उसे हिरासत में रखने की धमकी दी गई है.

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3. संयुक्त राष्ट्र को कुछ लोगों ने बताया कि उन्हें जबरन हिरासत में रखा गया, कुर्सी से बांधकर डंडे से पीटा गया, पूछताछ की गई, चेहरे पर पानी डाला गया, लंबे समय तक अकेले रखा गया, न सोने दिया और न ही खाने को दिया गया, अपनी भाषा बोलने या अपने धर्म का पालन करने से भी मना कर दिया गया. इतना ही नहीं, चीन ने इन लोगों को देशभक्ति गीत गाने के लिए मजबूर किया.

4. चीन ने उइगर मुसलमानों पर कई तरह की पाबंदियां लगा दीं. महिलाओं को हिजाब पहनने से मना कर दिया गया, पुरुषों को दाढ़ी बढ़ाने से मना कर दिया गया, बच्चों को मुस्लिम नाम देने पर भी रोक लगा दी. इसके अलावा रमजान के दिनों में रेस्टोरेंट बंद रखने पर भी रोक लगा दी. रिपोर्ट में बताया गया है कि चीन ने उइगर भाषा के इस्तेमाल पर भी रोक लगा दी.

5. महिलाओं ने अपने साथ यौन हिंसा होने का दावा भी किया है. कुछ महिलाओं ने संयुक्त राष्ट्र को बताया कि उनके साथ जबरन रेप किया गया. उन्हें ओरल सेक्स करने और अपने कपड़े उतारने के लिए भी मजबूर किया जाता है. वहीं, फैमिली प्लानिंग के नाम पर पुरुषों की जबरन नसबंदी की गई. 2018 में हर एक लाख पुरुषों में से 243 की नसबंदी की गई, जबकि चीन में ये आंकड़ा हर एक लाख आबादी पर 32 का था.

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उइगर मुसलमानों पर अत्याचार को लेकर चीन का विरोध होता रहता है. (फाइल फोटोः Reuters)

शिनजियांग कहां है?

चीन के उत्तर-पश्चिम में शिनजियांग प्रांत है. ये चीन का सबसे बड़ा प्रांत है. यहां की आबादी 2.5 करोड़ से ज्यादा है. इनमें से सवा करोड़ के आसपास उइगर मुसलमान हैं. 

शिनजियांग में कोयला, गैस, लिथियम, जिंक और लीड (सीसा) का भंडार भी है. इसके अलावा यहां कॉटन सबसे ज्यादा होता है. इस प्रांत की सीमा अफगानिस्तान, भारत, कजाखस्तान, किर्गिस्तान, मंगोलिया, पाकिस्तान, रूस और ताजिकिस्तान से लगती है. 

20वीं सदी की शुरुआत में उइगर मुसलमानों ने खुद को स्वतंत्र घोषित कर दिया था. लेकिन 1949 में कम्युनिस्ट पार्टी के शासन में शिनजियांग भी उसके नियंत्रण में आ गया. तिब्बत की तरह ही शिनजियांग भी स्वायत्त है. इसका मतलब यहां का अपना प्रशासन है, लेकिन ये केंद्र सरकार से ऊपर नहीं है.

 

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