नागरिकता संशोधन कानून को लेकर अभी भी देश के कई हिस्सों में विरोध प्रदर्शन जारी है, वहीं कई जगहों पर लोग कानून का समर्थन कर रहे हैं. इसी को लेकर सोशल मीडिया पर एक वीडियो तेजी से वायरल हो रहा है. वीडियो में एक शख्स सोफे पर बैठे दूसरे शख्स के पास आता है और उसके मुंह पर कालिख पोतकर बाद में उसे चप्पलों से पीटता नजर आ रहा है.
आस-पास खड़े लोग पिट रहे शख्स का बचाव करते दिख रहे हैं. दावा किया जा रहा है कि इंदौर में CAA और NPR का समर्थन करने पर भाजपा नेता एवं हज कमेटी के पूर्व चेयरमैन इनायत हुसैन के मुंह पर कालिख पोतकर उन्हें चप्पल से पीटा गया है.
इंडिया टुडे के एंटी फेक न्यूज वॉर रूम (AFWA) ने पाया कि वायरल वीडियो इंदौर का नहीं, बल्कि अजमेर का है और करीब दो साल पुराना है. इसका का CAA और NPR से कोई लेना-देना नहीं है. वीडियो में पिट रहे व्यक्ति का नाम अब्दुल माजिद चिश्ती है, ना कि इनायत हुसैन.
फेसबुक पेज I support Advocate D.s Bindra ने यह वीडियो पोस्ट करते हुए लिखा, 'ब्रेकिंग न्यूज-CAA-NPR का खुला समर्थन करने की वजह से इंदौर में भाजपा नेता और हज कमेटी के पूर्व चेयरमैन इनायत हुसैन के चेहरे पर पोती गई स्याही, चप्पलों से हुई पिटाई ऐसे गय्यूर मुसलमानों को बहुत बधाई हो'
खबर लिखे जाने तक यह वीडियो 36000 से ज्यादा बार देखा जा चुका है. पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है.
InVid टूल के जरिए रिवर्स सर्च करने पर हमें यह वीडियो यूट्यूब पर मिला. वीडियो को MTTV INDIA नाम के एक यूट्यूब चैनल ने 12 मार्च 2018 को अपलोड किया था. वीडियो के कैप्शन में लिखा हुआ है, 'MTTV INDIA BREAKING अंजुमन शैखजादगान के सचिव का किया मुंह काला'
हमने यूट्यूब पर मिले वीडियो के साथ किए जा रहे दावे से जुड़े कीवर्ड्स सर्च किए. हमें नई दुनिया और News18 में 13 मार्च 2018 को प्रकाशित न्यूज आर्टिकल्स मिले, जिनमें वायरल वीडियो का इस्तेमाल किया गया था.
रिपोर्ट्स के मुताबिक, राजस्थान के अजमेर में स्थित अजमेर शरीफ दरगाह में खादिमों की संस्था अंजुमन शेखजादगान के सचिव अब्दुल मजीद चिश्ती के साथ उन्हीं की संस्था के एक खादिम ने मुंह पर कालिख पोतकर उनके साथ मारपीट की थी.
घटना के बाद अब्दुल मजीद ने मारपीट करने वाले शख्स बंटी के साथ अन्य लोगों की शिकायत दरगाह थाने में दर्ज कराई थी. इन मीडिया रिपोर्ट्स में दी गई जानकारी के अनुसार पूरा मामला मस्जिद से जुड़े किसी गबन व धोखाधड़ी का बताया गया है.
पत्रिका की वेबसाइट पर प्रकाशित खबर के मुताबिक, यह घटना रविवार, 11 मार्च, 2018 की है.
AFWA ने अपनी पड़ताल में पाया कि वायरल वीडियो इंदौर का नहीं, बल्कि अजमेर का है और करीब दो साल पुराना है. इसका CAA और NPR से कोई लेना-देना नहीं है. साथ ही वीडियो में पिट रहे व्यक्ति का नाम अब्दुल माजिद चिश्ती है, ना कि इनायत हुसैन.