सोशल मीडिया पर एक ऐसा वीडियो वायरल हो रहा है जिसमें एक मेट्रो पुल के नीचे हजारों लोगों की भीड़ दिख रही है. इस वीडियो के बारे में ऐसा कहा जा रहा है कि ये लोग जयपुर में बीच सड़क पर हनुमान चालीसा पढ़ने के लिए जुटे थे. कुछ लोगों की मानें तो उन्होंने ऐसा इसलिए किया क्योंकि वो सड़क पर नमाज पढ़ने वालों का विरोध कर रहे थे.
हमने अपनी जांच में पाया कि इस वीडियो में दिख रहे लोग हनुमान चालीसा पढ़ने के लिए नहीं जुटे थे. ये वीडियो भारत का नहीं पाकिस्तान के लाहौर का है. ये भीड़ जनवरी 2021 में जुटी थी जब वहां अल्लामा खादिम हुसैन रिजवी नाम के एक राजनेता की मौत के बाद उनकी याद में रैली निकाली गई थी.
कैसे पता लगाई सच्चाई ?
वायरल वीडियो के कीफ्रेम्स को रिवर्स सर्च करने पर हमें ये वीडियो "लब्बाईक न्यूज" नाम के एक पाकिस्तानी यूट्यूब चैनल पर 4 जनवरी 2021 को शेयर किया हुआ मिला. वीडियो के कैप्शन में इसे अल्लामा खादिम हुसैन रिजवी के लिए निकाली जा रही एक रैली बताया गया है.
रिजवी पाकिस्तानी राजनीतिक दल 'तहरीक-ए-लब्बैक' के संस्थापक थे. 19 नवंबर 2020 को 54 साल की उम्र में उनकी मौत हो गई थी.
ये वीडियो हमें 3 जनवरी, 2021 के एक ट्वीट में भी मिला. यहां भी इसे रिजवी की याद में निकाली गई रैली ही बताया गया है.
पाकिस्तानी वेबसाइट ‘बाघी टीवी’ में 3 जनवरी, 2021 को छपे एक आर्टिकल के मुताबिक इस रैली में हजारों लोग शामिल हुए थे.
इस रैली की एक फोटो हमें शटरस्टॉक वेबसाइट पर भी मिली. इसकी तुलना वायरल वीडियो के स्क्रीनशॉट से करने पर हमें दोनों मे कई समानाताएं दिखीं.
वीडियो में दिख रहा एक विज्ञापन का बोर्ड, बिजली का खंबा और मेट्रो ट्रैक - ये तीनो ही चीजें दोनों तस्वीरों में एक जैसी दिख रही हैं.
इस वीडियो को कुछ दिन पहले नूपुर शर्मा प्रकरण को लेकर चल रहे प्रदर्शनों से जोड़कर शेयर किया गया था. उस वक्त भी हमने इसकी सच्चाई बताई थी.
(यश मित्तल के इनपुट के साथ)