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फैक्ट चेक: ​हिचकोले खाती इमारतों के ये वीडियो पुराने हैं, इनका तुर्की के हालिया भूकंप से नहीं है कोई कनेक्शन

इंडिया टुडे फैक्ट चेक ने पाया कि ये दोनों ही वीडियो पुराने हैं और इनका तुर्की में आए हालिया भूकंप से कुछ लेना-देना नहीं है. पहला वीडियो तुर्की के एलाजिग शहर में साल 2020 में आए भूकंप का है. वहीं, दूसरा वीडियो साल 2011 में जापान में आए एक भूकंप और सुनामी से संबंधित है.

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आजतक फैक्ट चेक

दावा
ये तुर्की में आए हालिया भूकंप का वीडियो है.
सोशल मीडिया यूजर्स
सच्चाई
ये नजारा एलाजिग, तुर्की में साल 2020 में आए भूकंप का है.

तुर्की-सीरिया भूकंप के चलते अब तक 36 हजार से भी ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है. आपने सोशल मीडिया पर ऐसी कई तस्वीरें और वीडियो देखे होंगे, जिनमें ताश के पत्तों की तरह ढह चुकी इमारतें और उनके मलबे में फंसे लोग दिखाई दे रहे हैं.

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इसी बीच सोशल मीडिया पर दो अलग-अलग इमारतों में भूकंप के वीडियो वायरल हो गए हैं. कई लोग इन्हें तुर्की के हालिया भूकंप का लाइव मंजर बताकर शेयर कर रहे हैं.

इनमें से पहला वीडियो किसी घर का है. इसमें एक आदमी और एक औरत सोफे पर बैठे दिख रहे हैं. पास ही एक बच्चा खेल रहा है. कुछ पलों बाद ही वहां एक छोटी बच्ची भागते हुए आती है. तभी अचानक भूकंप आ जाता है. आदमी, सोफे के पास ही घुटनों के बल बैठ जाता है और सिर नीचे झुका लेता है. औरत किसी तरह दोनों बच्चों को संभालती है. अलमारियों से सामान नीचे गिरने लगता है. चीख-पुकार मच जाती है.

एक ट्विटर यूजर ने इस वीडियो को पोस्ट करते हुए लिखा, "भूकंप का नया वीडियो. #TurkeyEarthquake #Syria".

इस पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है.  

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दूसरा वीडियो किसी सार्वजनिक जगह पर बनी इमारत का लग रहा है. इसमें भी एक कमरा बेहद तेजी से हिलता हुआ दिख रहा है. मेज-कुर्सियां भी हिचकोले खा रही हैं. दीवारों पर टंगे फोटो फ्रेम और छत पर टंगी लाइटें झूल रही हैं. कुछ लोग झुक कर जमीन पर बैठे हैं.

एक ट्विटर यूजर ने इसे शेयर करते हुए लिखा, "तुर्की के एयरपोर्ट का वी​डियो #turkeyearthquake2023".

इस पोस्ट का आर्काइव्ड वर्जन यहां देखा जा सकता है.

इंडिया टुडे फैक्ट चेक ने पाया कि ये दोनों ही वीडियो पुराने हैं और इनका तुर्की में आए हालिया भूकंप से कुछ लेना-देना नहीं है.

पहला वीडियो तुर्की के एलाजिग शहर में साल 2020 में आए भूकंप का है. वहीं, दूसरा वीडियो साल 2011 में जापान में आए एक भूकंप और सुनामी से संबंधित है.

कैसे पता लगाई सच्चाई?

घर के सीसीटीवी फुटेज वाले वीडियो के कीफ्रेम्स को रिवर्स सर्च करने पर हमें पता लगा कि साल 2020 में कई लोगों ने इसे फेसबुक पर शेयर किया था. सबने यही लिखा था कि ये वीडियो एलाजिग, तुर्की के भूकंप से जुड़ा है.  

इस जानकारी की मदद से हमें ये वीडियो 20 फरवरी, 2020 की एक तुर्की भाषा की रिपोर्ट में मिला. इसमें बताया गया है कि तुर्की के एलाजिग शहर में 24 जनवरी को 6.8 तीव्रता वाला भूकंप आया था. ये वीडियो उसी भूकंप से संबंधित है.

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एलाजिग के कुछ स्थानीय न्यूज आउटलेट्स ने भी इसे  6.8 तीव्रता वाले उसी भूकंप से संबंधित बताया था.  

दूसरे वीडियो की क्या कहानी है?

इस वीडियो पर कमेंट करते हुए एक शख्स ने लिखा है कि ये साल 2011 में जापान में आए एक भूकंप का दृश्य है. ये भी बताया है कि ये वीडियो एक जापानी एयरपोर्ट का है.

इसे रिवर्स सर्च करने पर हमें इसका एक बड़ा वर्जन 'All-Nippon News Network' (ANN) नामक जापानी टेलिविजन नेटवर्क के यूट्यूब चैनल पर मिला. यहां इसे 17 जनवरी, 2020 को पोस्ट किया गया था. यहां बताया गया है कि ये वीडियो जापान के मियागी शहर में स्थित सेंडाई एयरपोर्ट का है. वहां साल 2011 में भयानक सुनामी और भूकंप आए थे. ये उसी भूकंप का वीडियो है.

रिपोर्ट्स के मुताबिक, 11 मार्च, 2011 को जापान में 9.1 तीव्रता वाला भूकंप आया था. इस भूकंप के चलते वहां भयानक सुनामी भी आई थी.

तुर्की में हो रहा बिल्डर्स के खिलाफ एक्शन

तुर्की की सरकार अब इस त्रासदी के मद्देनजर खराब गुणवत्ता वाली इमारतें बनाने वाले बिल्डरों पर एक्शन ले रही है. रिपोर्ट्स के मुताबिक, वहां अब तक 131 संदिग्ध बिल्डर्स की पहचान की गई है जिनमें से 113 को हिरासत में लेने का आदेश जारी किया गया है.

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कुल मिलाकर बात साफ है कि आपदाओं से जुड़े दो पुराने वीडियो हालिया तुर्की भूकंप के बताकर शेयर हो रहे हैं.

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