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अशोक चौधरी से नाराज कांग्रेस आलाकमान, जल्द होगी छुट्टी

दिल्ली में कांग्रेस आलाकमान एक के बाद एक बैठक कर विधायकों को तलब कर रहे हैं. कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और उपाध्यक्ष राहुल गांधी बिहार कांग्रेस के डैमेज कंट्रोल में लगे हैं. बिहार में महागठबंधन की सरकार जाने के बाद से बिहार में कांग्रेस की टूट की खबरें आने लगी.

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कांग्रेस नेता अशोक चौधरी
कांग्रेस नेता अशोक चौधरी

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बिहार कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अशोक चौधरी से पार्टी आलाकमान नाराज है. बताया जा रहा है कि उन्हें जल्द ही अध्यक्ष पद से हटाया जा सकता है.

कांग्रेस आलाकमान ने अशोक चौधरी को पार्टी तोड़ने की कोशिश का दोषी माना है. जिसके बाद उनके खिलाफ पार्टी ने उनके खिलाफ कार्रवाई का मन बनाया है. बताया जा रहा है कि कांग्रेस आलाकमान अशोक चौधरी से बेहद नाराज है.

भावुक हुए अशोक चौधरी

इससे पहले प्रदेश अध्यक्ष अशोक चौधरी इस आरोप पर भावुक हो गए. उन्होंने मीडिया से बातचीत करने हुए कहा कि जिस पार्टी को उन्होंने अपने जीवन के 25 साल दिए, आज उसी पार्टी में उन्हें साइड लाइन करने की कोशिश हो रही है.

दिल्ली में कांग्रेस आलाकमान एक के बाद एक बैठक कर विधायकों को तलब कर रहे हैं. कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी और उपाध्यक्ष राहुल गांधी बिहार कांग्रेस को लेकर डैमेज कंट्रोल में लगे हैं. बिहार में महागठबंधन टूटने के बाद से कांग्रेस की टूट की खबरें आने लगीं.

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बताया गया कि कांग्रेस के कुल 27 विधायकों में से 18 टूट कर जनता दल (यू) या बीजेपी में जा सकते हैं. हालांकि बीजेपी इन विधायकों को अपनाने में ज्यादा उत्सुक नहीं दिख रही है. जेडीयू में जाने को लेकर आरजेडी अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव भी नीतीश कुमार पर आरोप लगा चुके हैं. हालांकि नीतीश कुमार ने इसका जवाब भी दिया कि लालू यादव कांग्रेस को हमेशा अपने पॉकेट में रखने के लिए उसे डरा कर रखना चाहते हैं. इसलिए वो ऐसी बात करते हैं.

गुुरुवार को जिस समय दिल्ली में राहुल गांधी की कांग्रेस विधायकों के साथ बैठक जारी थी, उसी समय प्रदेश अध्यक्ष अशोक चौधरी ने पटना में मीडिया से बातचीत करते हुए आरोप लगाया कि कांग्रेस के भीतर के लोग ही इसे तोड़ने में लगे हैं. उन्होंने कहा कि कांग्रेस में टूट की बात पर मेरी छवि खराब की जा रही है. बिहार कांग्रेस में विधायकों की नाराजगी वाले सवाल पर अशोक चौधरी ने कहा कि ये सब मीडिया की खबरें हैं.

उन्होंने कहा, महागठबंधन के टूटने के बाद पार्टी के लोग चाहते थे कि पार्टी आलाकमान पटना आएं और हालात को समझें लेकिन ऐसी कुछ नहीं हुआ. अशोक चौधरी का प्रदेश अध्यक्ष पद का कार्यकाल पूरा हो चुका है और कांग्रेस आलाकमान कभी भी नए प्रदेश अध्यक्ष का ऐलान कर सकती है. ऐसे में अशोक चौधरी के लिए यह बहुत विकट परिस्थिति है.

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पहले उनका मंत्री पद गया और अब प्रदेश अध्यक्ष का पद जाने के कगार पर है. हालांकि उनका कहना है कि महागठबंधन को जीत मिलने के बाद कांग्रेस ने ही नीतीश कुमार को सीएम पद के लिए प्रमोट किया लेकिन अब वो बीजेपी के साथ चले गए तो उसमें कांग्रेस का क्या दोष है. देखा जाये तो 2015 के चुनाव में कांग्रेस ने जेडीयू और आरजेडी से बेहतर प्रदर्शन किया. पार्टी ने 41 सीटों पर चुनाव लड़ा और 27 सीटे जीती.

 

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