पशु एवं मत्स्य संसाधन मंत्री मुकेश सहनी ने भले ही वैशाली में हुए एक सरकारी कार्यक्रम में अपने भाई को प्रॉक्सी मंत्री बनाकर भेजने के मामले में माफी मांग ली है लेकिन विपक्ष इस मुद्दे पर अब मुख्यमंत्री नीतीश कुमार का इस्तीफा मांग रहा है.
राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) के नेता तेजस्वी यादव ने नीतीश कुमार पर हमला बोलते हुए आरोप लगाया है कि उनकी सरकार में क्या हो रहा है. उन्हें इस बात की जानकारी नहीं है और इसलिए उन्हें अविलंब इस्तीफा दे देना चाहिए.
तेजस्वी यादव ने कहा, 'मुख्यमंत्री नीतीश को यह भी नहीं पता उनकी सरकार में क्या हो रहा है? उन्हें अपराध की, पेपर लीक की और किसी मंत्री की किसी भी असंवैधानिक गतिविधि की कोई जानकारी नहीं होती. नीतीश कुमार को अभिलंब इस्तीफा दे देना चाहिए.'
दरअसल, एक दिन पहले मुकेश सहनी ने वैशाली के एक सरकारी कार्यक्रम में कानून को ताक पर रखकर अपने छोटे भाई संतोष सहनी को भेज दिया था. इस कार्यक्रम में संतोष सहनी ने पूरी तरह से मंत्री का दायित्व निभाया.
यह मामला शुक्रवार को बिहार विधानमंडल के दोनों सदनों में विपक्ष के द्वारा उठाया गया और मुकेश सहनी का इस्तीफा भी मांगा गया. विपक्ष ने मुकेश सहनी के छोटे भाई की गिरफ्तारी की भी मांग की.
सदन में मौजूद नीतीश कुमार को भी जब इसकी जानकारी मिली तो उन्होंने सदन को कहा कि उन्हें मुकेश सहनी के द्वारा अपने छोटे भाई को सरकारी कार्यक्रम में भेजे जाने के बारे में जानकारी नहीं है मगर वह इस पूरे मामले को खुद देखेंगे.
कुछ देर के बाद नीतीश कुमार ने मुकेश सहनी को अपने चेंबर में तलब किया और जमकर क्लास लगाई. नीतीश कुमार से फटकार सुनने के बाद मुकेश सहनी के तेवर ढीले पड़े और फिर वह बाहर आकर मीडिया के सामने इस पूरे विवाद के लिए माफी मांग ली.
जब ऐसा लगा कि यह पूरा विवाद अब शांत हो गया है तो शनिवार को तेजस्वी यादव ने इस पूरे विवाद को फिर से हवा देते हुए नीतीश कुमार का इस्तीफा मांगा. तेजस्वी ने आरोप लगाया कि वैशाली का सरकारी कार्यक्रम पहला अवसर नहीं था जब मुकेश सहनी ने अपने छोटे भाई को प्रॉक्सी मंत्री बना कर भेजा था. तेजस्वी ने आरोप लगाया कि मंत्री बनने के बाद कई सरकारी कार्यक्रमों में मुकेश सहनी ने अपने छोटे भाई को भेजा है.
तेजस्वी यादव ने कहा, 'एक मंत्री की जगह उनका हमशक्ल भाई अब तक अनेक जिलों में स्थित शीर्षस्थ पदाधिकारियों की उपस्थिति में सरकारी योजनाओं का उद्घाटन कर चुका है. मंत्री के हमशक्ल से उद्घाटन कराने और प्रोटोकॉल का उल्लंघन करने वाले दोषी पदाधिकारियों पर सख्त कार्रवाई होनी चाहिए.'