बिहार की सियासत में उथल-पुथल जारी है. आरएलएसपी के दोनों विधायक उपेंद्र कुशवाहा का साथ छोड़कर नीतीश कुमार का दामन थामने जा रहे हैं. ऐसे में आरएलएसपी प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा ने सोमवार को जेडीयू के बागी नेता शरद यादव से मुलाकात की है.
शरद यादव से मुलाकात के बाद उपेंद्र कुशवाहा ने कहा कि नीतीश हमारे MLA को तोड़ने की कोशिश कर रहे और पता नहीं वो मुझे क्यों बर्बाद करने पर तुले हैं. उन्होंने कहा कि अभी हम NDA में, नीतीश को ऐसा नहीं करना चाहिए. हमारे पार्टी के कार्यकर्ताओं पर लाठीचार्ज करना गलत है.
कुशवाहा ने कहा कि शरद यादव और हमारी पार्टी अलग-अलग है, लेकिन हमारा मुद्दे एक जैसे हैं. कुशवाहा दिल्ली में बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह से मिलना चाहते थे, लेकिन चुनाव में व्यस्त होने के कारण मुलाकात नहीं हो सकी. हालांकि शाह से मुलाकात के लिए उन्होंने समय मांगा था.
वहीं, शरद यादव ने कहा कि पुराना रिश्ता है उपेंद्र कुशवाहा आते रहते हैं. उनके साथ न्यायपालिका में और अन्य जगह पिछड़ों के आरक्षण के मुद्दे पर बात हुई. जेडीयू के द्वारा आरएलएसपी के विधायकों को तोड़ना गलत है. यादव ने कहा कि अभी उपेंद्र कुशवाहा एनडीए में हैं. उनके इधर आने को लेकर कोई बात नहीं हुई.
शरद और कुशवाहा के बीच हुई मुलाकात के सियासी मायने निकाले जाने लगे हैं. उपेंद्र कुशवाहा और नीतीश कुमार में लोकसभा की सीटों के बंटवारे को लेकर पहले से ही खींचातान चली आ रही है.
Delhi: Union Minister and RLSP Chief Upendra Kushwaha meets Loktantrik Janata Dal leader Sharad Yadav pic.twitter.com/O5SOfz7Hqq
— ANI (@ANI) November 12, 2018
कुशवाहा एनडीए में सीट बंटवारे के फॉर्मूले को लेकर खुश नहीं हैं. माना जा रहा है कि 2019 के लोकसभा चुनाव में एनडीए का साथ छोड़कर वो नए साथी की तलाश में है.
हालांकि, इसी बीच नीतीश कुमार ने उन्हें बड़ा झटका दिया है. आरएलएसपी के दो विधायक ललन पासवान और सुधांशु शेखर जेडीयू में शामिल होने जा रहे हैं.
नीतीश कुमार ने हाल ही में उपेंद्र कुशवाहा को नीच तक कह दिया था. इसके बाद कुशवाहा समाज के लोगों ने सीएम नीतीश कुमार के खिलाफ प्रदर्शन किया था. प्रदर्शन के दौरान पुलिस ने कुशवाहा समर्थकों पर लाठीचार्ज कर दिया था. इस दौरान कई समर्थक घायल भी हो गए थे.
बता दें कि राज्य में लोकसभा चुनावों को लेकर जेडीयू और बीजेपी का गठबंधन हो गया है, लेकिन आरएलएसपी प्रमुख उपेंद्र कुशवाहा कम सीटें मिलने से नाराज हैं. बात नहीं बनी तो वह आरजेडी के साथ मिलकर चुनाव लड़ सकते हैं. इसी कड़ी में उन्होंने शरद यादव के साथ मुलाकात की है.