बिहार के मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी पटना के गांधी मैदान के बाहर पिछले शुक्रवार को मची भगदड़ में घायल लोगों के इलाज का जायजा लेने रविवार शाम पटना मेडिकल कालेज अस्पताल (पीएमसीएच) पहुंचे और वहां की व्यवस्था को असंतोषजनक पाया.
अस्पताल के हालात का जायजा लेने के बाद मुख्यमंत्री ने कहा, 'इस पर विचार के बाद उचित कार्रवाई की जाएगी.'
मांझी ने कहा कि यहां मरीजों को करीब 80 प्रतिशत दवाइयां बाहर से खरीदकर लानी पड़ रही हैं. अस्पताल में मरीजों को केवल इंजेक्शन उपलब्ध कराया जाता है.
विभिन्न वार्डों का निरीक्षण करने के दौरान उन्होंने पाया कि नियम के अनुसार मरीजों के बेडशीट नहीं बदले जा रहे हैं. कहीं 15 दिन, तो कहीं एक सप्ताह में, कहीं तीन दिन में बेडशीट बदले जाते हैं.
उन्होंने कहा कि इमरजेंसी वार्ड के शौचालय की स्थिति बहुत खराब है, वहां न तो पानी है और न ही सफाई है.
मांझी ने कहा कि कोई एचओडी तक यहां उपस्थित नहीं हैं. सभी एचओडी कहीं बाहर गए हुए हैं. पीएमसीएच के अधीक्षक लखेंद्र प्रसाद भी कहीं गए हुए हैं.
उन्होंने बताया कि यहां केवल पीएमसीएच के प्राचार्य और उपाधीक्षक उपस्थित थे. उनके साथ सर्जिकल, यूरोलॉजी, आथरे वार्ड का निरीक्षण किया गया. स्थिति बहुत ही असंतोषजनक है.
मांझी ने कहा कि यहां एक से डेढ़ महीने से रोगी भर्ती हैं और उन्हें डाक्टर नहीं देख रहे हैं. डॉक्टर नियमित राउण्ड नहीं लगाते हैं. कभी-कभार डॉक्टर रोगी को देखकर चले जाते हैं.
उन्होंने कहा कि पीएमसीएच की स्थिति बहुत ही असंतोषजनक है. इस पर विचारोपरांत आवश्यक कार्रवाई करेंगे.
गौरतलब है कि भगदड के बाद मुख्यमंत्री रात में करीब डेढ़ बजे पीएमसीएच जाकर घायलों से मिले थे और उनके इलाज को लेकर अस्पताल के अधीक्षक सहित स्वास्थ्य विभाग के वरीय अधिकारियों को आवश्यक निर्देश दिए थे.